advertisement
शेयर बाजार 22 फरवरी को लाल निशान पर बंद होते हुए लगातार 5वें दिन कमजोर हुआ. इन ट्रेडिंग सेशन में सेंसेक्स (Sensex) अब तक कुल 2409 प्वाइंट्स कमजोर हो चुका है. वहीं NSE का इंडेक्स निफ्टी भी इस दौरान 639 प्वाइंट्स टूटा. आइए जानते हैं क्या है बाजार में इस बड़ी गिरावट की वजह और आगे कैसी रणनीति दिला सकती है मुनाफा.
हाल के महीनों में बाजार में बड़ी तेजी देखी गई है. मार्केट उछाल के दम पर लगातार नए शिखर पर पहुंचा है. काफी जानकार मानते हैं कि ऐसे में बाजार ओवरवैल्यूड हो सकता है. इतने उच्च स्तर पर प्रॉफिट बुकिंग मार्केट में गिरावट की अहम वजह है. बजट से पहले बाजार में अच्छा करेक्शन दिखा था लेकिन अच्छे बजट के बाद बाजार लगातार चढ़ा.
बीते कुछ दिनों में भारत में कोरोना के मामलों में तेजी देखने को मिली है. महाराष्ट्र, पंजाब, जैसे राज्यों में तेजी से बढ़ते ऐसे मामलों के चलते एक्टिव पेशेंट्स की संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की जा रही है. महाराष्ट्र में फिर से लॉकडाउन की आशंका के बीच निवेशकों की चिंता बढ़ गई है.
हाल के दिनों में विदेशी संस्थागत निवेशकों द्वारा बाजार में निवेश में भी कमी दिख रही है. 16 फरवरी को FII ने मार्केट में 1144 करोड़ के शेयरों की खरीद की थी जो लगातार घटते हुए 19 फरवरी को 118 करोड़ रहा. इस दौरान घरेलू संस्थागत निवेशकों (DII) द्वारा शेयरों की बड़ी बिक्री जारी है. बाजार में लगातार 5 दिनों की गिरावट की यह भी महत्वपूर्ण वजह है.
US बॉन्ड यील्ड (Bond yield) में बड़ी तेजी से भी निवेशकों के बीच बाजार के ओवरवैल्यूेशन को लेकर चिंता बढ़ गई है. विकसित देशों के बॉन्ड यील्ड और उभरते बाजारों के इक्विटी मार्केट में विपरीत संबंध होता है. तेजी से बढ़ते हुए बांड यील्ड के अलावा निवेशकों में आने वाले दिनों में संभावित महंगाई की भी चिंता है.
विदेशी बाजारों से कमजोर संकेतों ने भी बाजार में बेयर्स (bears) की पकड़ में मदद की है. एशिया और विश्व के अन्य बाजारों में भी पिछले कुछ दिनों में बड़ी उछाल नहीं दिखी है. इसके साथ ही टेक्निकल फैक्टर्स के कारण भी बाजार में सेल्लिंग प्रेशर दिख रहा है. शुक्रवार 19 फरवरी और 22 फरवरी को सेंसेक्स 51000 और 50,000 के नीचे आ गया था. इसी तरह निफ्टी भी 15,000 और 14,750 के अहम मनोवैज्ञानिक स्तरों के नीचे आ गया.
एक्सपर्ट्स बाजार में इस गिरावट को अच्छा संकेत मानते हैं. बिकवाली से मार्केट को अपने सही स्तर पर ढलने में मदद मिलेगी जिसके बाद खरीद के अच्छे मौके बन सकते हैं. अभी के लिए बाजार में सावधान रहकर मजबूत फंडामेंटल्स और सही वैल्यूएशन वाले शेयरों की खरीद अच्छी रणनीति होगी. बीते महीनों में बड़ी गिरावट के बाद शेयर बाजार ने अच्छी वापसी दिखाई है. US में आने वाले बड़े स्टिमुलस पैकेज से बाजार को नई ऊर्जा मिल सकती है.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)