Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Business Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019सरकारी मदद नहीं मिली तो वोडाफोन-आइडिया को बंद करना पड़ेगा: बिड़ला

सरकारी मदद नहीं मिली तो वोडाफोन-आइडिया को बंद करना पड़ेगा: बिड़ला

टेलीकॉम कंपनियों की हालत बेहद खराब हैं

क्विंट हिंदी
बिजनेस
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(फोटो: ट्विटर/हिंदुस्तान टाइम्स)
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(फोटो: ट्विटर/हिंदुस्तान टाइम्स)

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टेलीकॉम कंपनियों की खस्ताहाली के बीच अब आदित्य बिड़ला ग्रुप के चेयरमैन कुमार मंगलम बिड़ला ने कहा है कि अगर सरकार वोडाफोन-आइडिया को मदद नहीं करती है तो हम कंपनी को बंद कर देंगे. कुमार मंगलम बिड़ला ने ये बात हिंदुस्तान टाइम्स की लीडरशिप समिट में कहीं.

बता दें कि टेलीकॉम कंपनियों की हालत बेहद खराब हैं. खासतौर पर वोडाफोन आइडिया को दूसरी तिमाही में 50,921 करोड़ का घाटा हुआ है. जो कंपनी के इतिहास में सबसे बड़ा घाटा है. 

दसअसल सरकार जो एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यू (AGR) की वसूली की है उसकी वजह से भारत की कई टेलीकॉम कंपनियां बर्बादी की कगार पर पहुंच गई हैं. एजीआर के पेमेंट की वजह से कंपनियों पर बोझ बढ़ गया है. इसकी वजह से उन्होंने अपने टैरिफ भी बढ़ाए हैं.

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क्या होता है एजीआर?

भारत सरकार के टेलीकॉम विभाग टेलीकॉम कंपनियों से एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यूज वसूलता है. ये एक तरह की फीस है जो टेलीकॉम कंपनियों से यूजेज और लाइसेंसिंग के लिए वसूली जाती है. इसी एजीआर को वसूलने को लेकर टेलीकॉम कंपनियों और टेलीकॉम विभाग के बीच मतभेद था. इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने 24 अक्टूबर, 2019 को दिए आदेश में टेलीकॉम विभाग के दावे के सही माना था.

सुप्रीम कोर्ट के इस आदेश के तहत एयरटेल को 43,000 करोड़ रुपये और वोडाफोन आइडिया को 40,000 करोड़ रुपये देने होंगे.

वोडाफोन आइडिया ने बढ़ाया था टैरिफ

वोडाफोन प्रीपेड ग्राहक भी अब नए प्लान के लिए ज्यादा रुपये चुका रहे हैं. नए टैरिफ 3 दिसंबर से लागू हो चुके हैं. वोडाफोन के रिवाइज्ड प्लान के अनुसार, एंट्री लेवल अनलिमिटेड प्लान की कीमत (वैलिडिटी) 50 फीसदी तक बढ़ गई है.

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