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देश की सत्ताधारी पार्टी बीजेपी की ओर से चलाई जा रही ‘नमो टीवी’ पर चुनाव आयोग ने बड़ा फैसला सुनाया है. आयोग ने कहा है कि नमो टीवी पर लाइव प्रसारण किया जा सकता है लेकिन चैनल पर कोई भी पहले से रिकॉर्ड प्रोग्राम वोटिंग से 48 घंटे पहले से नहीं चलेगा. इस आदेश का ठीक से पालन हो इसके लिए सभी राज्यों के मुख्य चुनाव आयुक्तों को निगरानी रखने के लिए भी कहा गया है.
नमो टीवी अपने पहले दिन से ही विवादों से घिरी रही है. पहले तो बीजेपी इस चैनल से किनारा करती नजर लेकिन बाद में उसके नेताओं ने कबूला था कि ये चैनल बीेजेपी ही चला रही है. वहीं कई विपक्षी पार्टियां भी इस चैनल को लेकर अपनी चिंताएं जाहिर कर चुकी है.
नमो टीवी किसी कानून के तहत नहीं चल रहा लेकिन ये किसी कानून का उल्लंघन भी नहीं कर रहा. दरअसल ये चैनल सैटेलाइट चैनलों की लिस्ट में नहीं है. इसे न्यूज नहीं विज्ञापन का चैनल बताया जा रहा है. इसलिए ये सैटेलाइट चैनलों के लिए बने कानून के तहत कवर नहीं होता. लेकिन इन तकनीकि बातों को दरकिनार कर दें तो ये शुद्ध रूप से बीजेपी के पक्ष में माहौल बनाने का काम कर रहा है.
अमित मालवीय, जो कि बीजेपी आईटी सेल के प्रमुख हैं, ने अब माना है कि ये बीजेपी का ही चैनल है लेकिन टाटा स्काई ने पहले ही बताया था कि इस चैनल के लिए कंटेंट बीजेपी इंटरनेट के जरिए भेज रही है. ऐन चुनाव के वक्त चौबीस घंटे बीजेपी का प्रचार कर रहे इस चैनल के खिलाफ विपक्षी दलों ने चुनाव आयोग से शिकायत की थी. इसके बाद आयोग ने सूचना और प्रसारण मंत्रालय से भी जवाब मांगा था.
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