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चुनाव 2019: ‘यादव परिवार’ की किस्मत तीसरे चरण में होगी तय
तीसरे चरण में उन इलाकों में वोटिंग होगी जिन्हें कद्दावर यादव नेता मुलायम सिंह के परिवार का गढ़ माना जाता है.
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‘यादव परिवार’ की किस्मत तीसरे चरण में होगी तय
(फोटो: पीटीआई)
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लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण में उत्तर प्रदेश में उन इलाकों में वोटिंग होगी जिन्हें कद्दावर यादव नेता मुलायम सिंह यादव के परिवार का गढ़ माना जाता है. इस चरण में होने वाली वोटिंग में यादव परिवार की किस्मत का फैसला होगा. लोकसभा चुनाव के पहले दो चरणों में उत्तर प्रदेश में 16 सीटों पर मतदान हुआ जिनमें से महज तीन सीटों पर समाजवादी पार्टी (एसपी) ने अपने उम्मीदवार उतारे थे, लेकिन तीसरे चरण में 23 अप्रैल को 10 सीटों पर मतदान होगा जिनमें से 9 सीटों पर एसपी प्रत्याशी मैदान में हैं.
इस चरण में गठबंधन मजबूत!
इस चरण में एसपी-बीएसपी (बहुजन समाज पार्टी)-आरएलडी (राष्ट्रीय लोकदल) गठबंधन जातिगत समीकरणों को लेकर ज्यादा मजबूत दिख रहा है, जबकि भारतीय जनता पार्टी को इन सीटों पर मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. इस चरण में एसपी के गढ़ बदायूं, संभल, मैनपुरी, फिरोजाबाद और रामपुर के साथ-साथ आंवला, बरेली, पीलीभीत, एटा और मुरादाबाद में मतदान होगा. एसपी के लिए सबसे सुरक्षित सीट मैनपुरी है जहां से पार्टी के ''कुलपिता'' मुलायम सिंह यादव प्रत्याशी हैं. दो दिन पहले मैनपुरी में मुलायम सिंह यादव ने बीएसपी सुप्रीमो मायावती से ढाई दशक पुरानी शत्रुता को दफन करते हुए उनके साथ मंच साझा किया था.
किस सीट पर क्या समीकरण?
मैनपुरी के परिणाम को लेकर कोई अनुमान नहीं है क्योंकि मुलायम सिंह यादव यहां सबसे कद्दावर और लोकप्रिय नेता हैं. वह 2014 में मैनपुरी और आजमगढ़ दोनों जगहों से निर्वाचित हुए थे, लेकिन बाद में उन्होंने आजमगढ़ को ही चुना.
बदायूं में एसपी के उम्मीदवार धर्मेद्र यादव हैं जिनको कांग्रेस प्रत्याशी सलीम इकबाल शेरवाणी से सीधी टक्कर मिल रही है. इस चुनाव क्षेत्र में चार लाख मुस्लिम और नौ लाख ओबीसी मतदाता हैं जिससे एसपी का पलड़ा भारी हो सकता है. भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की संघमित्रा मौर्या इस बीच एक वीडियो टेप को लेकर विवादों में घिर गई हैं. वायरल हो रहे टेप में उनको अपने समर्थकों को फर्जी वोट करने को कहते हुए दिखाया गया है.
फिरोजाबाद में शिवपाल यादव और उनके भतीजे अक्षय यादव आमने-सामने हैं और ये यादव नेताओं के बीच असली लड़ाई है. शिवपाल यादव को संगठन के जमीनी स्तर से परिचित होने का फायदा मिल रहा है.
एसपी को संभल सीट पर जीत हासिल करने की उम्मीद है जहां पार्टी ने फिर शफीकुर रहमान बार्क को चुनावी मैदान में उतारा है जो पिछले लोकसभा चुनाव 2014 में महज 5,000 वोट से हारे थे.
रामपुर में बीजेपी उम्मीदवार जयाप्रदा और एसपी के आजम खान के बीच मुकाबला है.
पीलीभीत में बीजेपी सांसद वरुण गांधी को एसपी के हेमराज वर्मा चुनौती दे रहे हैं तो मुरादाबाद में बीजेपी प्रत्याशी सर्वेश सिंह को युवा कवि इमरान प्रतागढ़ी चुनौती दे रहे हैं. बीजेपी इन दोनों संसदीय क्षेत्रों में अपनी मजबूत स्थिति देख रही है.
बरेली में बीजेपी के कद्दावर नेता संतोष गंगवार आठवीं बार चुनाव मैदान में हैं और उनको कांगेस के प्रवीण एरन चुनौती दे रहे हैं.
राजस्थान के राज्यपाल और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के पुत्र राजवीर सिंह एटा में दूसरी बार चुनाव मैदान में हैं और उनके खिलाफ एसपी ने देवेंद्र यादव को उतारा है.