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पश्चिम बंगाल में जब 5 चरणों का चुनाव कोरोना नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए पूरा हो चुका है, तब जाकर राजनीतिक पार्टियों को जनता की फिक्र हुई है और कोरोना महामारी याद आई है. कांग्रेस और टीएमसी के बाद अब बीजेपी की तरफ से भी कहा गया है कि राज्य में कोई बड़ी रैली नहीं होगी. सभी जगहों पर छोटी रैलियां की जाएंगी, जिनमें लोग तमाम कोरोना नियमों का पालन करेंगे. यहां तक कि पीएम मोदी की रैली में सिर्फ 500 लोगों की भीड़ जुटने की बात कही गई है.
बीजेपी की तरफ से कहा गया है कि, बंगाल में आगे होने वालीं छोटी जन-सभाएं भी खुली जगह और तमाम कोविड गाइडलाइंस के साथ होगी. भारतीय जनता पार्टी ने पश्चिम बंगाल में 6 करोड़ मास्क और सैनिटाइजर वितरण का लक्ष्य रखा है.
बीजेपी से पहले पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए कोलकाता में अपनी चुनावी रैलियों को रद्द कर दिया था. TMC नेता डेरेक ओ ब्रायन ने बताया था कि, ममता बनर्जी चुनाव प्रचार के आखिरी दिन 26 अप्रैल को केवल एक प्रतीकात्मक 30 मिनट की बैठक आयोजित करेंगी. इसके अलावा ममता बनर्जी ने बीजेपी और पीएम मोदी को कोरोना की इस हालत के लिए जिम्मेदार ठहराया.
पश्चिम बंगाल चुनावों को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी रैलियां नहीं करने का फैसला किया था. उन्होंने कहा था कि कोरोना के बढ़ते संक्रमण की वजह से वो सभी रैलियां रद्द कर रहे हैं. उन्होंने कहा था कि, राजनैतिक दलों को सोचना चाहिए कि ऐसे समय में इन रैलियों से जनता व देश को कितना खतरा है.
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