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दावाः एक मिथक खूब चलता आया है कि मछली खाने के बाद दूध पीना हानिकारक होता है. ये सवाल सोशल मीडिया, ट्विटर से लेकर फेसबुक और Quora पर भी खूब छाया हुआ है.
मछली खाने के बाद दूध पीने को लेकर आयुर्वेद और वेस्टर्न मेडिसिन में अलग-अलग दृष्टिकोण हैं.
आयुर्वेद के मुताबिक मछली नॉन-वेज (मांसाहार) है और वहीं दूध एनिमल बाइ-प्रोडक्ट होने के बावजूद शाकाहार है.
आयुर्वेदिक एक्सपर्ट डॉ बीएन सिन्हा ने NDTV को बताया कि दोनों के एक साथ होने से आपके शरीर में तमस गुण (हानिकारक ऊर्जा) बढ़ जाता है और असंतुलन पैदा कर देता है. डॉ सिन्हा का ये भी मानना है कि इससे ब्लड में केमिकल बदलाव हो सकते हैं, जो संभवतः ल्यूकोडर्मा, स्किन पिगमेंटेशन की स्थिति पैदा कर सकते हैं.
इंद्रप्रस्थ अपोलो हॉस्पिटल के जनरल फिजिशियन डॉ तरुण साहनी फिट को बताते हैं, ‘मछली और दूध दोनों प्रोटीन युक्त होते हैं और अगर वे रिएक्ट करते हैं तो दर्द, पेट खराब और डायरिया का कारण बन सकते हैं, लेकिन ऐसा तभी हो सकता है जब आपको दोनों में से किसी चीज से एलर्जी हो.’
मछली और दूध के सेवन से ल्यूकोडर्मा (एक स्किन डिसऑर्डर, जिसमें त्वचा अपना रंग खो देती है और ये सफेद धब्बे के तौर पर सामने आता है) होने के दावे को डॉ साहनी अपने आप में कमजोर तर्क बताते हैं.
ऐसा कोई साइंटिफिक प्रूफ नहीं है, जो कहे कि दूध और मछली एकसाथ होने पर हमारे शरीर को नुकसान पहुंचाते हैं. वास्तव में, ग्रीक खाने में कई डिशेज के लिए मछली और दही को मिलाया जाता है और ये सेहत के लिए फायदेमंद माना जाता है. कोंकणी या मालवानी पाक शैली में भी स्वादिष्ट मछली और नारियल के दूध की करी होती है.
डॉ साहनी कहते हैं, ‘अगर आपको खाने की किसी चीज से एलर्जी है तो शरीर एक डिफेंस मेकेनिज्म प्रोग्राम कर लेता है ताकि आप उन चीजों को बाहर निकाल सकें, जिन्हें आप पचा नहीं सकते हैं. इसलिए आपको दस्त या उल्टी होगी और ये एक नैचुरल रिएक्शन है ताकि इन्ग्रेडिएंट्स आपके शरीर में अब्जॉर्ब न हों.’
जबकि दोनों थ्योरिज के अपने मेरिट्स हैं, यह स्पष्ट है कि दूध और मछली एक साथ होने से आपको शारीरिक नुकसान नहीं होगा, जब तक कि आपको एलर्जी न हो.
इसके अलावा, ये कॉम्बिनेशन ‘सफेद धब्बों’ का कारण नहीं बन सकता है, जैसा कि ऊपर दावा किया गया है.
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Published: 14 May 2019,01:18 PM IST