गूगल हेल्थ की एक स्टडी के मुताबिक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से मैमोग्राम (स्तन का एक्स-रे पिक्चर) में ब्रेस्ट कैंसर की सटीक पहचान की जा सकती है.
अगर गूगल का ये आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सॉफ्टवेयर क्लीनिकल ट्रायल में बेहतर साबित होता है, तो ये ब्रेस्ट कैंसर की स्क्रीनिंग को आसान बनाने में मददगार होगा.
इस तकनीक के जरिए मैमोग्राम को पढ़कर कैंसर होने या ना होने को लेकर गलत डायग्नोसिस के मामलों में कमी देखी गई है.
पिछले साल गूगल की ओर से पब्लिश किए गए एक रिसर्च में बताया गया था कि किस तरह तकनीक की मदद से ये पता लगाया जा सकता है कि ब्रेस्ट कैंसर शरीर में अपने आसपास कहां तक फैला है.
गूगल की ओर से कहा गया है कि उनका AI मॉडल ना सिर्फ मरीजों की परेशानी कम करेगा बल्कि स्तन कैंसर की पहचान में रेडियोलॉजिस्ट के लिए भी मददगार साबित होगा.
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Published: 03 Jan 2020,11:30 AM IST