सेक्सॉल्व समता के अधिकार के पैरोकार हरीश अय्यर का फिट पर सवाल-जवाब पर आधारित कॉलम है.

अगर आपके मन में सेक्स, सेक्स के तौर-तरीकों या रिलेशनशिप से जुड़े कोई सवाल हैं, और आपको किसी तरह की सलाह की जरूरत है, किसी सवाल का जवाब चाहते हैं या फिर यूं ही चाहते हैं कि कोई आपकी बात सुन ले- तो हरीश अय्यर को लिखें, और वह आपके लिए ‘सेक्सॉल्व’ करने की कोशिश करेंगे. आप sexolve@thequint.com पर मेल करें.

पेश हैं इस हफ्ते के सवाल-जवाबः

‘मैं एक लड़के से प्यार करती हूं. कैसे जानूं कि वह भी मुझे प्यार करता है या नहीं?’

'मुझे कैसे पता चल सकता है कि वह लड़का जिसे मैं मुझे बहुत प्यार करती हूं, वह भी मुझसे प्यार करता है?’ (फोटो: iStock)

डियर रेनबोमैन,

मैं एक लड़के से बहुत प्यार करती हूं और मैं उसे अपना दिल चुकी हूं, लेकिन मुझे नहीं पता कि क्या वह भी असल में मुझे उतना ही प्यार करता है, जितना मैं उससे प्यार करती हूं. मुझे नहीं पता कि क्या वह भी मुझसे सच्चा प्यार करता है या वह मेरे साथ सिर्फ दिखावा करता है क्योंकि मैं नहीं चाहती कि वह मेरा दिल तोड़ दे. मैं बहुत फिक्रमंद हूं. तो, मेरा सवाल यह है कि मुझे कैसे पता चलेगा कि यह लड़का जिससे मैं इतना ज्यादा प्यार करती हूं, वह भी मुझसे प्यार करता है.

एक प्रेमिका

डियर प्रेमिका,

मुझे लिखने के लिए शुक्रिया. दिल के मामले हमेशा बहुत नाजुक होते हैं. यहां तक कि इसके दर्द, यहां तक कि इसकी कसक, यहां तक कि अनिश्चितता भी? है ना?

लेकिन कोई भला कब तक अनिश्चितता की मझधार में रह सकता है? स्पष्टता होने पर क्या प्यार बेहतर नहीं होता है? और भला पूछ लेने और बता देने से बेहतर क्या तरीका हो सकता है. रिश्ता बनाने के लिए भरोसे से बेहतर नींव क्या है? ऐसा ही है ना?

तो, उसके साथ बाहर जाएं. उसके साथ वक्त बिताएं. उससे पूछे. उसे बताएं और आकलन करें क्या वह आपके भरोसे के लायक है.

उसे कुछ वक्त और दें.

मुस्कान के साथ

रेनबोमैन

अंतिम बातः अपनी बात बोल देने से जिंदगी बेहतर हो जाती है.

‘सेक्स के बीच ही मेरा इरेक्शन खत्म हो जाता है’

‘मुझे इरेक्शन कायम रखने में समस्या है.’ (फोटो: iStock)

डियर रेनबोमैन,

मेरी हाल ही में शादी हुई है. लेकिन जब भी हम करीब आते हैं (कुछ मौकों के अलावा) सेक्स करने में असमर्थ होते हैं. मुझे इरेक्शन बनाए रखने में समस्या है. मेरा पेनिस इरेक्टेड हो जाता है, लेकिन यह सेक्स के लिए पर्याप्त नहीं होता और कई बार मुझे लगता है कि शायद इसकी वजह यह है कि हममें बहुत झगड़ा होता है, लेकिन पोर्न देखने के दौरान भी मुझे इरेक्शन का एहसास नहीं होता. प्लीज मेरी मदद कीजिए.

राहुल

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डियर राहुल,

मुझे लिखने के लिए बहुत-बहुत शुक्रिया.

सेक्स सेक्सुअल इंटरकोर्स से परे है. शायद, लोगों को सिर्फ वजाइना में पेनिस जाने की बजाए दूसरे विकल्प भी देखने चाहिए.

अच्छा फोरप्ले. रोमांटिक एक्सप्लोरेशन. जगह का बदलाव भी ज्यादा रोमांटिक माहौल बनाने में मददगार हो सकता है. मुझे लगता है कि अपने जीवनसाथी के साथ अपने रोमांटिक जीवन के उस पहलू का पता लगाना अच्छा होगा. झगड़े रोमांस की हत्या कर देने वाले हो सकते हैं. ध्यान रहे कि अपने बेडरूम को उस तरह की बातचीत से मुक्त रखें, जिनसे झगड़ा हो सकता है. दूसरे कमरे में लड़ाई खत्म कर लें, ताकि जब आप बेडरूम में दाखिल हों, तो आप खुले दिमाग के साथ दाखिल हों, जो रोमांस की दुनिया खंगालने का ख्वाहिशमंद है.

आपकी इरेक्शन की समस्या के मामले में मेरा सुझाव है कि आप एक अच्छे सेक्सोलॉजिस्ट से मिलें और उनसे पता करें कि क्या कोई समस्या है, जो दवा से ठीक हो सकती है, या आसान सा व्यवहार का बदलाव आपके सेक्स जीवन को रंगीन बना सकता है.

मुस्कान के साथ

रेनबोमैन

अंतिम बातः दृश्य का बदलाव पूरी कहानी को बदल सकता है.

‘मेरी मां चाहती हैं कि मैं अपनी ममेरी बहन से शादी कर लूं'

'हमारे खानदान में, हम अपने मामा की बेटी से शादी कर सकते हैं.'(फोटो: iStock)

डियर रेनबोमैन,

मैं बहुत हताशा में आपको लिख रहा हूं. मुझे उम्मीद है कि आप मेरे सवाल का जवाब देंगे. मैं 32 साल का पुरुष हूं. अभी अविवाहित हूं. मैं पहले भी रिलेशनशिप में रहा हूं लेकिन पता नहीं क्यों हर बार जब भी मैं किसी लड़की को डेट करता हूं, वह या तो किसी और के साथ हो जाती है या बेहतर संभावनाओं के लिए दूसरे शहर चली जाती है. मैं ऐसी चार रिलेशनशिप में रहा हूं. मुझे लगता है कि यह सिर्फ बदकिस्मती है. मुझे लगता है कि मैं बेकार आदमी हूं, जो बेकार चीजों का हकदार है. ठीक है, शायद मैं मुद्दे से भटक रहा हूं. प्लीज मुझे बर्दाश्त करें. मैं सच में परेशान हूं और नहीं जानता कि अपनी बात कैसे रखूं. मैं सिंगल हूं, लेकिन दुखी नहीं हूं. मैं रिलेशनशिप में रहना पसंद करता हूं, और मेरा दिल भी टूटा है, लेकिन मैं ऐसा इंसान हूं जो बहुत जल्द संभल भी जाता है. मैं नहीं चाहता कि लोग मेरे बारे में फिक्र करें. मुझे वैसी फालतू सहानुभूति की जरूरत नहीं है. समस्या मेरी मां हैं. वह मेरे बारे में “फिक्रमंद” हैं और अपनी “फिक्र” में वह किसी के साथ मेरी शादी तय करने में कामयाब रहीं. पता चला कि वह तो मेरी अपनी ममेरी बहन है. हमारे खानदान में, हम अपने मामा की बेटी से शादी कर सकते हैं. तो, कह सकते हैं कि यह “रिश्ता” मेरी अपनी बहन से किया गया है. मैंने पूरी जिंदगी उसे बहन कहा है. मैं अचानक खुद को बदल कर उसका पति नहीं बन सकता. मैं यह नहीं कर सकता. यह गंदा, अजीब और रिश्तेदारों से सेक्स करने जैसा है. हां, मैं और मेरी बहन में कई सालों से संपर्क नहीं है. लेकिन मैं अब भी उसे अपनी छोटी बहन के रूप में याद करता हूं. मुझे अचंभा होता है कि यह कैसी बेवकूफी भरी परंपरा है जो इस तरह की घृणित चीजों को होने देती है. मैं सच में गुस्से में हूं. मेरा मन करता है कि अपने परिवार से दूर भाग जाऊं. यह करना सही नहीं होगा, लेकिन लगता है कि यही अंतिम चीज है जो मैं कर सकता हूं. क्या सिर्फ इसलिए कि मैं 32 साल का अविवाहित हूं, मैं कबाड़ माल की तरह दिखता हूं? मैं नाकाम हूं. एकदम नाकाम. मेरे परिवार के बाहर किसी महिला से शादी खोजने के लिए एकदम कबाड़ और बेकार? इतना बेकार कि मुझे अपनी ममेरी बहन से शादी करने की जरूरत पड़े? यह मुझे डराता है. मुझे अपनी मां से बातचीत करने में कोई फायदा नहीं दिखता. लेकिन, मैं अपनी मां को बता भी नहीं सकता कि मैं शादी नहीं करूंगा. एक परिवार के रूप में हम कभी भी अपने मां-बाप की बात के खिलाफ नहीं जाते. मेरी मां सिंगल पैरेंट हैं. मैं उन्हें परेशानी में नहीं डालना चाहता. उन्हें भी किसी बात करने वाले की जरूरत होती है. उनके पास कोई नहीं है. वह चाहती हैं कोई हो और शायद वह सही हैं. लेकिन मुझे डर है, मेरी जिंदगी सच में बर्बादी के दौर से गुजर रही है. क्या आप मेरी मदद कर सकते हैं?

भाईजान, मुंबई

डियर भाईजान,

मुझे लिखने के लिए बहुत-बहुत शुक्रिया. मैं जानता हूं कि आप परेशान हैं. यह आपके शब्दों से एकदम साफ है. आपने इस सीधे-दिल-से लिखे ईमेल में बहुत सारे मुद्दों पर बात की है. अपने ढेर सारे निजी ब्योरे लिखने के लिए शुक्रिया.

आइए पहले आपके अफेयर्स के बारे में बात करें. जब रिलेशनशिप नाकाम होती है, हम सभी लोग किसी वजह की तलाश शुरू करते हैं. जो एक अच्छी बात हो सकती है, इस तरह हम खुद में सुधार कर सकते हैं और अगली बार ज्यादा कारगर रिलेशनशिप बना सकते हैं. हालांकि, सभी नाकामियों के लिए खुद को दोष देना समझदारी नहीं है. रिलेशनशिप कई वजहों से शादी तक नहीं पहुंचती है. और शायद चारों बार इसके शादी तक नहीं पहुंचने के लिए अलग-अलग वजहें थीं. खुद को थोड़ा शांत करें.

शादियां भला कब कामयाबी का संकेतक रही हैं? शादी करना कोई बहुत बड़ा कमाल का काम नहीं है. जब आप शादी करें तो आपको इसके लिए पूरी तरह तैयार होना चाहिए. आप किसी से सिर्फ इसलिए शादी नहीं कर सकते क्योंकि आपकी मां आपसे कहती हैं. आप किसी से इसलिए शादी नहीं कर सकते क्योंकि आपकी चार रिलेशनशिप नाकाम रही हैं. आप किसी से इसलिए शादी नहीं कर सकते क्योंकि लोगों को लगता है कि 32 साल उम्र होने से आप बहुत बूढ़े हो गए हैं.

आपको खुद के लिए और जैसा आप महसूस करते हैं, उसके लिए खड़े होने की जरूरत है. हो सकता है कि दुनिया आपका साथ न दे, लेकिन आपको खुद के साथ, अपने लिए खड़ा होना चाहिए.

आपकी मां के इस दबाव के बारे में कि आप अपनी ममेरी बहन से शादी कर लें, मैं कहना चाहूंगा कि आप उन्हें परेशानी में नहीं डालेंगे अगर उन्हें बताएंगे कि आप उनकी पसंद की लड़की से शादी नहीं करेंगे. आपको उनके साथ दिल से दिल की बात करनी चाहिए. उन्हें बताएं कि आप क्या सोचते हैं. अपनी ममेरी बहन से भी बात करें. उससे पूछें कि वह क्या चाहती है. उसे बताएं कि आप इस बारे में क्या सोचते हैं. दो समझदार बालिगों के रूप में, आप यहां से आगे की राह तय कर सकते हैं. किसी भी दुनियावी चीज पर ध्यान न दें.

अगर आपकी मां को किसी से बात करने की जरूरत है, तो उनका नाम किसी क्लब में दर्ज कराएं या उनसे पूछें कि क्या वह आपके घर पर किटी पार्टी करना चाहेंगी. आपको बीवी इसलिए नहीं चाहिए कि वो आपकी मां का मनोरंजन करे.

बदतमीज ना बनें. लेकिन साफगोई जरूरी है.

मुस्कान 😊

रेनबोमैन

अंतिम बातः अपनी ममेरी बहन से बात करो यार!

(हरीश अय्यर एलजीबीटी कम्युनिटी, महिलाओं, बच्चों और पशुओं के अधिकारों के लिए काम करने वाले समान अधिकार एक्टिविस्ट हैं.)

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Published: 15 Feb 2020,09:30 PM IST

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