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बस 15 दिन का इंतजार, 350 अहम दवाएं सस्ती करेगी मोदी सरकार

इस संशोधन के माध्यम से उपचार की कुल लागत में 10-15% की कमी की उम्मीद की जा सकती है.

द क्विंट
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(फोटो: ब्लूमबर्ग क्विंट)
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(फोटो: ब्लूमबर्ग क्विंट)
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आपकी सेहत के लिए एक अच्छी खबर है. जल्दी ही पोलियो ड्रॉप, ग्लूकोज, प्लाज्मा सैशे, हारमोनल इंजेक्शन और मल्टी विटामिन जैसी 500 से भी ज्यादा दवाइयों के दाम 80 फीसदी तक कम होने के आसार हैं. केंद्र सरकार इन दवाइयों में इस्तेमाल होने वाली 350 जीवनरक्षक दवाइयों (ड्रग फॉर्मूलेशन्स) को राष्ट्रीय सूची में शामिल करने जा रही है. इसके बाद ये 350 अहम दवाइयां सस्ती हो जाएंगी.

सरकार के पास नहीं हैं आंकड़े

भारत में दवाओं के दाम तय करने वाली इकाईयों का विस्तार होने जा रहा है. इनके दायरे के विस्तार का मकसद उन दवाओं के आंकड़ों को शामिल करना है जो अब तक दर्ज नहीं थे. इन 350 मूल दवाओं का सरकार के पास कोई मार्केट डाटा नहीं है.

350 जरुरी दवाओं की कीमत कहीं उपलब्ध नहीं है. हमने सरकार से कहा है कि एक ऐसा प्रावधान बनाया जाए जो एनपीपीए को इन दवाओं की कीमतें तय करने की अनुमति दे.
<i><b>भूपेंद्र सिंह, राष्ट्रीय औषधि मूल्य निर्धारण प्राधिकरण (एनपीपीए)के अध्यक्ष</b></i>

15 दिन में होगा लागू

केमिकल्स एंड फर्टिलाइजर्स मंत्री अनंत कुमार ने कहा कि यह प्रावधान अगले 15 दिनों में लागू कर दिया जाएगा. भारत में फार्मास्यूटिकल इंडस्ट्री को फार्मास्यूटिकल डिर्पाटमेंट नियंत्रित करता है, जोकि मिनिस्ट्री ऑफ केमिकल्स, पेट्रोकेमिकल्स और फर्टिलाइजर्स के अंर्तगत आता है. एनपीपीए अस्पतालों में कम उपयोग की जाने वाली लेकिन जरुरी दवाओं का डाटा इकट्ठा करेगी.

हालांकि इसका कोई सीधा प्रभाव नहीं हो सकता है लेकिन फिर भी हम इसके जरिए उपचार की कुल लागत में 10-15 फीसदी की कमी की उम्मीद करते हैं. सर्जिकल कॉटन जैसे उत्पादों की कीमत इस संशोधन के माध्यम से कम हो जाएगी.
<i><b> अनंत कुमार, केमिकल्स एंड फर्टिलाइजर्स मंत्री</b></i>

मार्केट के हिसाब से औसत कीमत तय

मौजूदा कानून के तहत, एनपीपीए दवाओं की कीमत तय करता है. एनपीपीए लागत आधारित मूल्य को निर्दिष्ट करने की जगह मार्केट मैक्निज्म के हिसाब से औसत कीमत तय करने लगा है.&nbsp;
<b> केबी अग्रवाल, ज्वाइंट सेक्रटरी, स्वास्थ्य मंत्रालय</b>

फिलहाल एनपीपीए ड्रग प्राइस कंट्रोल आॅर्डर (2013) के तहत काम करता है. वह बाजार में एक ही दवा की कई कीमतों के औसत के हिसाब से जरुरी दवाओं की कीमत निर्धारित करता है. एनपीपीए केमिस्टों से इसके लिए आंकड़ें इकट्ठा करता है.

एनपीपीए मौजूदा समय में 900 फॅार्मूलेशन की कीमत को नियंत्रित करता है. अबतक 368 एक्स्ट्रा फॅार्मूलेशन का अधिकतम खुदरा मूल्य तय किया गया है.

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Published: 29 Aug 2016,08:14 PM IST

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