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Basant Panchami 2023: बसंत पंचमी मां सरस्वती की आरती व पूजा मंत्र

Basant Panchami: ऐसे में हम आपके लिए मां सरस्वती की आरती व मंत्र लेकर आए हैं.

अंशुल जैन
लाइफस्टाइल
Published:
<div class="paragraphs"><p>बसंत पंचमी&nbsp;</p></div>
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बसंत पंचमी 

(फोटो- अल्टर्ड बाई क्विंट हिन्दी)

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Saraswati Puja 2023 Mantra And Aarti: बसंत पंचमी का पर्व हर साल माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है. इस पावन अवसर पर विद्या की देवी मां सरस्वती की पूजा-अर्चना की जाती है. हिंदू धर्म शास्त्रों में मां सरस्वती को विद्या और बुद्धि की देवी माना जाता है. मान्यता है कि इस दिन मां सरस्वती के मंत्र, आरती और वंदना का पाठ करने से मनोकामनाएं पूरी होती हैं. ऐसे में हम आपके लिए मां सरस्वती की आरती व मंत्र लेकर आए हैं.

मां सरस्वती की आरती

जय सरस्वती माता, मैया जय सरस्वती माता।

सद्गुण, वैभवशालिनि, त्रिभुवन विख्याता।।

जय सरस्वती माता…

चन्द्रवदनि, पद्मासिनि द्युति मंगलकारी।

सोहे हंस-सवारी, अतुल तेजधारी।।

जय सरस्वती माता…

बायें कर में वीणा, दूजे कर माला।

शीश मुकुट-मणि सोहे, गले मोतियन माला।।

जय सरस्वती माता…

देव शरण में आये, उनका उद्धार किया।

पैठि मंथरा दासी, असुर-संहार किया।।

जय सरस्वती माता…

वेद-ज्ञान-प्रदायिनी, बुद्धि-प्रकाश करो।।

मोहज्ञान तिमिर का सत्वर नाश करो।।

जय सरस्वती माता…

धूप-दीप-फल-मेवा-पूजा स्वीकार करो।

ज्ञान-चक्षु दे माता, सब गुण-ज्ञान भरो।।

जय सरस्वती माता…

माँ सरस्वती की आरती, जो कोई जन गावे।

हितकारी, सुखकारी ज्ञान-भक्ति पावे।।

जय सरस्वती माता…

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सरस्वती पूजा मंत्र

विघ्न-बाधाओं को दूर करने के लिए

ऐं ह्रीं श्रीं अंतरिक्ष सरस्वती परम रक्षिणी।

मम सर्व विघ्न बाधा निवारय निवारय स्वाहा।।

सरस्वती देवी का मूल मंत्र

ओम ऐं सरस्वत्यै ऐं नमः।

सरस्वती वंदना

या कुन्देन्दुतुषारहारधवला या शुभ्रवस्त्रावृता,

या वीणावरदण्डमण्डितकरा या श्वेतपद्मासना।

या ब्रह्माच्युत शंकरप्रभृतिभिर्देवैः सदा वन्दिता,

सा मां पातु सरस्वती भगवती निःशेषजाड्यापहा॥

शुक्लां ब्रह्मविचार सार परमामाद्यां जगद्व्यापिनीं,

वीणा-पुस्तक-धारिणीमभयदां जाड्यान्धकारापहाम्‌।

हस्ते स्फाटिकमालिकां विदधतीं पद्मासने संस्थिताम्‌,

वन्दे तां परमेश्वरीं भगवतीं बुद्धिप्रदां शारदाम्‌॥

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