Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Lifestyle Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Google Doodle: Satyendra Nath Bose कौन थे, आज गूगल ने बनाया खास डूडल

Google Doodle: Satyendra Nath Bose कौन थे, आज गूगल ने बनाया खास डूडल

Google Doodle: सत्येंद्र नाथ बोस एक भारतीय मैथेमैटिशियन और थेओरिटिकल फिजिक्स के वैज्ञानिक हैं.

क्विंट हिंदी
लाइफस्टाइल
Published:
<div class="paragraphs"><p>Google Doodle on Satyendra Nath Bose</p></div>
i

Google Doodle on Satyendra Nath Bose

(फोटो-गूगल)

advertisement

Google Doodle on Satyendra Nath Bose: गूगल (Google) ने आज अपने डूडल (Doodle) के जरिए भारत के महान वैज्ञानिक सत्येंद्र नाथ बोस (Satyendra Nath Bose) को याद किया है. Satyendra Nath Bose कौन हैं गूगल ने आज क्यों उन्हें याद किया? Satyendra Nath Bose का जन्म 1 जनवरी 1894 को हुआ था वे एक भारतीय मैथेमैटिशियन और थेओरिटिकल फिजिक्स के वैज्ञानिक हैं. उन्हें 1920 के दशक में क्वांटम मैकेनिक्स के फील्ड में उनके द्वारा दिए गए योगदान के लिए याद किया जाता है.

सत्येंद्र नाथ बोस के पिता ईस्ट इंडियन रेलवे कंपनी के इंजीनियरिंग विभाग में काम करते थे. सत्येंद्र नाथ बोस अपने 7 भाई बहनों में सबसे बड़े थे. इनकी शुरुआती पढ़ाई नाडिया जिले के बाड़ा जगुलिया गांव में हुई. आगे की पढ़ाई के लिए वो प्रेसिडेंसी कॉलेज गए.

इसके बाद प्रेसीडेंसी कॉलेज से ही सन 1915 में उन्होंने अप्लाइड मैथ्स से अपनी MSc पूरी की. इसके बाद 1916 में कलकत्ता विश्वविद्यालय के साइंस कॉलेज में रिसर्च स्कॉलर के रूप में प्रवेश किया और Theory of Relativity की पढ़ाई शुरू की.

ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

सत्येंद्र नाथ बोस के बारे कहा जाता है कि उन्होंने इंटरमीडिएट की गणित परीक्षा में 100 में से 110 अंक हासिल किए थे. इस दौरान बोस ने प्रश्न पत्र में पूछे गए सभी प्रश्नों का जवाब सही दिया और कई सवालों को अलग अलग तरीकों से हल किया था. इसके बाद जब उनकी कॉपी जांची गई तो उन्हें 100 में से 110 अंक दिए गए.

सत्येंद्र नाथ बोस ने Bose Statistics और Bose Condensate की स्थापना की थी. उन्हें भारत सरकार ने 1954 में Padma Vibhushan के अवार्ड से सम्मानित किया था. 4 फरवरी 1974 में उनकी मृत्यु हो गई. आज वो हमारे बीच जरूर नहीं है लेकिन उनके द्वारा किये गए कार्यों से हम आज भी प्रेरणा ले सकते हैं.

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

Published: undefined

ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT