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Maharishi Dayanand Saraswati Jayanti 2022: महर्षि स्वामी दयानंद सरस्वती की आज जयंती मनाई जा रही है. दयानंद सरस्वती आधुनिक भारत के महान चिन्तक, समाज-सुधारक, तथा आर्य समाज के संस्थापक थे.
महर्षि दयानंद सरस्वती एक संयासी थे उन्होंने बाल विवाह, सती प्रथा जैसी कुरीतियों को खत्म करने में समाज में बड़ा योगदान दिया. आज उनकी जयंती हम आपके लिए अनमोल विचार लेकर आए है.
1. लोगों को कभी भी चित्रों की पूजा नहीं करनी चाहिए, मानसिक अंधकार का प्रसार मूर्तिपूजा के प्रचलन के कारण है.
2. नुकसान से निपटने में सबसे जरूरी चीज है उससे मिलने वाले सबक को ना भूलना, वो आपको सही मायने में विजेता बनाता है.
3. वो अच्छा और बुद्धिमान है जो हमेशा सच बोलता है, पुण्य के कामों पर काम करता है, और दूसरों को अच्छा और खुश करने की कोशिश करता है.
4. मनुष्यों के भीतर संवेदना है, इसलिए अगर वो उन तक नहीं पहुंचता जिन्हें देखभाल की ज़रुरत है तो वो प्राकृतिक व्यवस्था का उल्लंघन करता है.
5. नुकसान से निपटने में सबसे जरूरी चीज है, उससे मिलने वाली सीख को कभी ना भूलना, यही चीज आपको सही मायने में विजेता बनाएगी.
6. सबसे उच्च कोटि की सेवा ऐसे व्यक्ति की मदद करना है जो बदले में आपको धन्यवाद कहने में असमर्थ हो.
7. सेवा का उच्चतम रूप एक ऐसे व्यक्ति की मदद करना है, जो बदले में धन्यवाद देने में असमर्थ है.
8. हमें पता होना चाहिए कि भाग्य भी कमाया जाता है थोपा नहीं जा सकता और ऐसी कोई कृपा नहीं है जो कमाई ना जा सके.
9. अज्ञानी होना गलत नहीं है; अज्ञानी बने रहना गलत है.
10. भगवान का ना कोई रूप है ना रंग है। वह अविनाशी और अपार है, जो भी इस दुनिया में दिखता है वह उसकी महानता का वर्णन करता है.
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