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National Mathematics Day 2022: गणित के ज्ञाता श्रीनिवास रामानुजन की जयंती हर साल 22 दिसंबर को राष्ट्रीय गणित दिवस के रूप में मनाई जाती है. रामानुजन का जन्म 22 दिसंबर 1887 को ब्रिटिश भारत के मद्रास प्रेसीडेंसी के इरोड (Erode) तमिलनाडु में एक अयंगर ब्राह्मण परिवार में हुआ था, और 1919 में रामानुजन ने 32 वर्ष की उम्र में अंतिम सांस ली.
गणित दिवस मनाने के पीछे मुख्य उद्देश्य लोगों में मानवता के विकास के लिए गणित के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना है. देश की युवा पीढ़ी के बीच गणित सीखने के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण को प्रेरित करने, उत्साहित करने और विकसित करने के लिए कई पहल की जाती हैं. यह दिन हमारे राष्ट्र के विकास में गणित के महत्व को दर्शाता है. श्रीनिवास रामानुजन युवाओं के लिए हमेशा प्रेरणा के श्रोत रहे हैं.
1. मेरे लिए एक समीकरण का कोई मतलब नहीं है जब तक की यह भगवान् के बारे में कोई विचार प्रकट नहीं करता.
2. गणित के बिना आप कुछ भी नहीं कर सकते आपके आसपास सबकुछ गणित है, आपके आसपास सबकुछ नंबर है.
3. गणित संख्या समीकरणों एल्गोरिथम के बारे में नहीं है यह तो समझ के बारे में है.
4. मेरी गणित में दिलचस्पी केवल एक रचनात्मक कला के रूप में है.
5. बहुत प्रलाप करने से क्या लाभ है ? इस कारागार जगत में कोई भी बस्तु हैं वह गणित के बिना नहीं है ,उसको गणित के बिना समझा नहीं जा सकता.
6. गणित के मानकों से भी पांडुलिपि अव्यवस्थित दिखती है.
7. जैसे मोरो में सीखा और नागो मणि मणि का स्थान सबसे ऊपर है वैसे ही बेदांग और शास्त्रों में गणित का स्थान सबसे ऊपर है.
8. जयमिति की रेखा और चित्रों में हम उन अक्छरो को सीखते हैं जिनमे दुनिया महान पुटक लिखी गयी है.
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