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टाटा ग्रुप के ज्वेलरी ब्रांड तनिष्क (Tanishq) के एक ऐड पर विवाद होने के बाद अब विज्ञापन क्लब इसके समर्थन में आए है. एडवर्टाइजिंग क्लब ने तनिष्क विज्ञापन की आलोचना को क्रिएटिव अभिव्यक्ति पर हमला बताया और कहा कि ये काफी गंभीर बात है. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी तनिष्क को सपोर्ट मिला है.
इंटरनेशनल एडवर्टाइजिंग एसोसिएशन (IAA) के इंडिया चैप्टर ने भी तनिष्क के साथ एकजुटता दिखाते हुए घटना को 'दुर्भाग्यपूर्ण' बताया. IAA ने इस हमले के खिलाफ सरकार से कड़ी कार्रवाई की मांग की है.
IAA ने अपने बयान में कहा, "जिन घटनाओं के कारण तनिष्क का विज्ञापन वापस लिया गया है, वो काफी दुर्भाग्यपूर्ण है. हम व्यक्तिपरक मामलों पर हर व्यक्ति की राय का सम्मान करते हैं, लेकिन उन्हें असामाजिक व्यवहार नहीं करना चाहिए. हम संबंधित सरकारों से अपील करते हैं कि वो इस तरह के धमकाने वाले व्यवहार के बारे में गंभीरता से विचार करें और जरूरी कार्रवाई करें, ताकि बिजनेस अपने ब्रांड का मैसेज सुरक्षित माहौल में बता पाएं."
IAA के इस बयान में एडवर्टाइजिंग एजेंसीज एसोसिएशन ऑफ इंडिया (AAAI) और द एडवर्टाइजिंग क्लब (TAC) का भी समर्थन प्राप्त है.
वहीं, एडवर्टाइजिंग क्लब ने अपने बयान में कहा, "भारतीय मीडिया और विज्ञापन उद्योग की ओर से एडवर्टाइजिंग क्लब तनिष्क और उसके कर्मचारियों को नई ज्वेलरी लाइन पर उनके विज्ञापन के संबंध में धमकी और टारगेट करने की कड़ी निंदा करता है."
इसके पहले विज्ञापनों की देखरेख करने वाली स्वनियंत्रित संस्था ASCI में भी तनिष्क के विज्ञापन को लेकर शिकायत की गई. एडवर्टाइजिंग स्टैंडर्ड काउंसिल ऑफ इंडिया (ASCI) में तनिष्क के विज्ञापन के खिलाफ शिकायत दर्ज की गई कि ये विज्ञापन 'सांप्रदायिकता मिलावट को बढ़ावा देता' है, लेकिन ASCI ने कहा है कि ये किसी कोड का उल्लंघन नहीं है.
सोशल मीडिया पर ट्रोलिंग के बाद तनिष्क ने अपने कर्मचारियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए विज्ञापन को वापस ले लिया है. कंपनी ने एक बयान में कहा,
सोशल मीडिया पर लोगों ने इस विज्ञापन को ‘लव जिहाद’ से जोड़ते हुए हिंदुओं के खिलाफ बताया था. कांग्रेस सांसद शशि थरूर समेत कई नेताओं ने ट्रोलिंग की आलोचना की है.
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