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CM ठाकरे के फैसले को फाइल में छेड़खानी कर बदला, मामले में FIR दर्ज

एक इंजीनियर के खिलाफ जांच के आदेशों से संबंधित फाइल में हुई छेड़खानी

ऋत्विक भालेकर
भारत
Published:
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे 
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महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे 
(फाइल फोटो: PTI)

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सीएम उद्धव ठाकरे ने पीडब्ल्यूडी विभाग के सुप्रीटेंडेंट इंजीनियर के खिलाफ विभागीय जांच की फाइल पर साइन कर सहमति दी थी. लेकिन फाइल के साथ छेड़खानी कर आदेश को पलटने का गंभीर मामला सामने आया था.

पीडब्ल्यूडी मंत्री अशोक चव्हाण ने पिछले शीतकालीन सत्र में ये मामला सदन में भी उठाया था. इसके बाद विपक्ष ने सरकार को निशाने पर भी लिया था.

अब मामले में अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मरीन ड्राइव पुलिस स्टेशन में धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है. जोन-1 डीसीपी शशिकुमार मीणा ने पुष्टि करते हुए बताया कि, 'सीएम के आदेश को पलटना गंभीर मामला है. इस मामले में एफआईआर दर्ज हुई है और पुलिस आगे की जांच कर रही है.'

क्या है पूरा मामला?

बीजेपी-शिवसेना सरकार के कार्यकाल में जेजे स्कूल ऑफ आर्ट्स के मरम्मत के काम मे पीडब्ल्यूडी विभाग में कुछ वित्तीय अनियमितता सामने आई थी. सरकार बदलने के बाद कांग्रेस कोटे के मंत्री अशोक चव्हाण ने इस मामले में संबंधित इंजीनियर के खिलाफ जांच की सिफारिश की थी.

जब ये फाइल सीएम ठाकरे के कार्यालय पहुंची तो ठाकरे ने इस जांच को सहमति देते हुए रिमार्क दे दिया था. लेकिन फाइल के फिर से पीडब्ल्यूडी विभाग पहुचने पर जांच के आदेश को और एक रिमार्क के तहत पलट दिया गया.

इस बात की पुष्टि के लिए खुद मंत्री अशोक चव्हाण ने सीएम ठाकरे से बात की. तब पता चला कि फाइल से छेड़खानी की गई है. जब इस गंभीर मामले को विपक्ष ने सदन में उठाया, तब अशोक चव्हाण ने इस घटना को कबूला था.

फडणवीस सरकार में गृह निर्माण की फाइल से हुई थी छेड़खानी

फडणवीस सरकार में गृह निर्माण मंत्री प्रकाश मेहता पर ताड़देव मिल कंपाउंड में झुग्गी पुनर्विकास (SRA) प्रोजेक्ट में अनियमत्ताएं का आरोप लगा था. उस वक्त विपक्ष में बैठी कांग्रेस एनसीपी ने बिल्डर को फायदा पहुंचाने के लिए फाइल में छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया था. इस मामले में लोकायुक्त जांच का आदेश हुआ था और प्रकाश मेहता को मंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था.

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