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धनबाद जज मर्डर केस: सुप्रीम कोर्ट में उठा मामला, परिवार ने की CBI जांच की मांग

Jharkhand हाई कोर्ट ने जज Uttam Anand मामले का खुद ही संज्ञान लिया

क्विंट हिंदी
भारत
Updated:
<div class="paragraphs"><p>Jharkhand हाई कोर्ट ने Uttam Anand मामले का खुद ही संज्ञान लिया</p></div>
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Jharkhand हाई कोर्ट ने Uttam Anand मामले का खुद ही संज्ञान लिया

(फोटो: क्विंट हिंदी)

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झारखंड के धनबाद में डिस्ट्रिक्ट जज (Dhanbad Judge) उत्तम आनन्द (Uttam Anand) को टेंपो ने टक्कर मार दी, जिसके बाद उनकी मौके पर ही मौत हो गई थी. 28 जुलाई को जब जज आनंद मॉर्निंग वॉक पर निकले तो रणधीर वर्मा चौक पर उनके साथ ये हादसा हुआ. पहले तो इसे एक हादसे के तौर पर ही देखा जा रहा था, लेकिन जब पुलिस को इस घटना की सीसीटीवी फुटेज मिली तो अब हत्या के एंगल से जांच शुरू हो चुकी है. 29 जुलाई को इस मामले को सुप्रीम कोर्ट में उठाया गया और CJI एनवी रमना ने इस पर टिप्पणी भी की.

झारखंड हाई कोर्ट ने 29 जुलाई को इस मामले का खुद ही संज्ञान लिया. हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन ने धनबाद पुलिस के एसपी को 29 जुलाई को सुनवाई के दौरान पेश होने का निर्देश दिया.

कई जजों के सामने उठा मामला

सुप्रीम कोर्ट में जज उत्तम आनंद का मामला CJI समेत कई जजों के सामने उठाया गया. देश के चीफ जस्टिस एनवी रमना ने कहा कि उन्होंने झारखंड हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस से बात की है और कहा, "हम केस के बारे में जानते हैं और हम इसे देखेंगे.'

जब CJI रमना के सामने सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन ने इस मामले को उठाया, तो CJI ने कहा, "हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस ने मामला देखा है और केस अब हाई कोर्ट में है. हमें भी केस के बारे में पता है."

CJI से पहले वकील विकास सिंह ने ये मामला जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच के सामने उठाया था. सिंह ने कहा, "ये न्यायपालिका पर खुला हमला है. ये मामला सीबीआई के पास जाना चाहिए. ऐसे मामलों में स्थानीय पुलिस की आमतौर पर मिलीभगत होती है. ये चौंकाने वाला है. जज मॉर्निंग वॉक पर निकलते हैं और एक वाहन उन्हें टक्कर मार देता है. जज कई गैंगस्टर की जमानत याचिका पर सुनवाई कर रहे थे. ये न्यायिक आजादी पर हमला है."

वकील विकास सिंह ने जज उत्तम आनंद का मामला जस्टिस एमआर शाह के सामने भी उठाया. सिंह ने कहा कि फुटेज 'सामान्य CCTV नहीं' है और इसे 'जानबूझकर' सर्कुलेशन के लिए रिकॉर्ड किया गया था.

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परिवार की सीबीआई जांच की मांग

जज उत्तम आनंद के हजारीबाग स्थित परिवार के लोग हत्या की बात कह रहे हैं. हजारीबाग जिले के लोहसिंघना थाना क्षेत्र अंतर्गत शिवपुरी मोहल्ले के रहने वाला जज का परिवार इस मामले को सुनियोजित हत्या बता रहा है. साथ ही इस मामले को लेकर सीबीआई जांच की मांग कर रहा है.

मृतक के छोटे भाई शंभु सुमन ने कहा कि उनके भाई की हत्या सुनियोजित ढंग से हुई है, जो कि सीसीटीवी फुटेज में साफ दिखता है. उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मामले की सीबीआई जांच की मांग की है. मृतक न्यायाधीश के पिता सदानन्द प्रसाद और भाई शंभु सुमन हजारीबाग में वकील हैं.

मृतक के छोटे भाई शंभु सुमन

मृतक के छोटे भाई ने बताया कि उत्तम आनंद की स्कूली शिक्षा सेंट मेरी स्कूल के बाद सेंट जेवियर से हुई थी. आनंद ने वर्ष 1996 में किरोड़ीमल कॉलेज से लॉ पास किया था. वर्ष 2000 में हजारीबाग में प्रैक्टिस शुरू की और वर्ष 2002 में झारखंड में न्यायिक पदाधिकारी के रूप में चयनित हुए थे.

जज उत्तम आनंद को टक्कर मारने वाले ऑटोरिक्शा के चालक और उसके साथी को गिरफ्तार कर लिया गया है.

डीएम से जवाब तलब, ड्राइवर गिरफ्तार

जज उत्तम आनंद को टक्कर मारने वाले ऑटोरिक्शा के चालक और उसके साथी को गिरफ्तार कर लिया गया है. पुलिस ने अज्ञात टेंपो ड्राइवर के खिलाफ केस दर्ज किया था. सिविल कोर्ट के रजिस्ट्रार की शिकायत पर केस दर्ज हुआ था.

राज्य सरकार ने इस मामले में डीएम से भी जवाब मांगा है. 28 जुलाई को SSP के आवासीय कार्यालय में उच्च स्तरीय बैठक हुई थी. साथ ही मेडिकल बोर्ड का भी गठन किया गया.

29 जुलाई को झारखंड हाई कोर्ट ने खुद ही संज्ञान लेते हुए इस मामले में तेजी से जांच के निर्देश दिए. कोर्ट इस जांच पर रोजाना निगरानी रखेगी. पुलिस से कहा गया है कि अगर जांच संतोषजनक नहीं हुई तो केस सीबीआई को सौंप दिया जाएगा.

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Published: 29 Jul 2021,02:01 PM IST

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