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डायरेक्टरेट जनरल ऑफ गुड्स & सर्विसेज टैक्स इंटेलिजेंस (DGGI) ने पिछले चार दिनों में 25 लोगों को फेक इनवॉइस बनाने और GST चोरी के 350 मामलों में गिरफ्तार किया है. ये 350 मामले देश की करीब 1180 कंपनियों के खिलाफ हैं.
DGGI ने अपने बयान में कहा, "नवंबर के दूसरे हफ्ते में इनपुट टैक्स क्रेडिट (ITC) को फर्जी तरीके से फेक इनवॉइस, जाली फर्म्स और सर्कुलर ट्रेडिंग के जरिए लेने और उसे आगे देने वाले अनैतिक तत्वों के खिलाफ देशभर में अभियान तेज किया गया. अभी तक पिछले चार दिनों में 1180 कंपनियों के खिलाफ फेक इनवॉइस जारी करने के 350 मामलों में दो किंगपिन समेत 25 लोग गिरफ्तार हुए हैं."
DGGI ने बताया कि फर्जी तरीके से इनपुट टैक्स क्रेडिट लेने वाले अनैतिक तत्वों के खिलाफ ये सबसे बड़े अभियानों में से एक है.
इन 350 मामलों में मुख्य सामान जैसे लोहा और स्टील, तांबा रॉड/तार, अलौह धातु का कबाड़ और बचे हुए टुकड़े, प्लास्टिक ग्रैन्युल, PVC रेसिन, रेडीमेड कपड़े, सोना और चांदी, एग्रो प्रोडक्ट, कंस्ट्रक्शन सर्विस शामिल हैं.
DGGI सूत्रों का कहना है कि आने वाले दिनों में GST चोरी और ITC फ्रॉड करने वालों के खिलाफ अभियान को और तेज किया जाएगा और कई और गिरफ्तारियां भी की जाएंगी. एक टॉप सूत्र ने कहा कि इस फ्रॉड से जिन लोगों को फायदा हुआ है, उनके खिलाफ मनी लॉन्डरिंग के मामलों की जांच प्रवर्तन निदेशालय कर सकता है.
सूत्रों ने कहा कि फेक इनवॉइस का इस्तेमाल सिर्फ GST और इनकम टैक्स की चोरी ही नहीं, बल्कि कंपनी के खर्चे बढाकर दिखाने में भी इस्तेमाल होता है. ऐसा करने से इन कंपनियों के 'अनैतिक मालिक' बेईमानी से पैसा निकालकर हवाला और बोगस इंपोर्ट-एक्सपोर्ट के जरिए विदेश भेजते हैं.
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