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हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में रविवार को भूस्खलन से 46 लोगों की मौत हो गई है. सड़क में करीब 150 मीटर गड्ढा हो गया है, जिससे रोडवेज की दो बसें हादसे का शिकार हो गईं.
सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि दिनभर चले बचाव अभियान में 46 शव बरामद किए गए और पांच घायलों को बचाया गया.
प्रवक्ता ने कहा, "हम मानते हैं कि ज्यादातर शव बरामद कर लिए गए हैं. रात को बचाव अभियान रोक दिया गया है, क्योंकि वहां जमीन धंसने की और भी घटना की आशंका है. लेकिन सुबह बचाव अभियान फिर से शुरू हो जाएगा."
उन्होंने कहा कि 23 शवों की पहचान अभी नहीं हो पाई है. एक बाइक सवार का शव भी मलबे से निकाल लिया गया है.
राज्य परिवहन मंत्री जी. एस. बाली ने एक समाचार चैनल को बताया, "चालक के साथ आखिरी संवाद के मुताबिक, बस (मनाली जा रही) पूरी तरह से भरी हुई थी." हादसे के समय चंबा से मनाली जा रही बस में 40 से ज्यादा यात्री सवार थे.
कटरा (जम्मू) जा रही एक और बस के मलबे को पूरी तरह बरामद कर लिया गया है. बस में सवार आठ लोगों में से तीन की मौत हो गई है.
पीएम मोदी ने हादसे पर शोक जताते हुए ट्वीट किया, "हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में भूस्खलन से संबंधित घटनाओं के कारण हुई मौतों से पीड़ा हुई. मृतकों के परिजनों के प्रति मेरी शोक संवेदना."
स्थानीय अधिकारियों, भारतीय सेना और राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल द्वारा जांच और बचाव अभियान जारी है.
मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने अपने मंत्रिमंडल के सहयोगियों के साथ घटनास्थल का दौरा किया और मरने वालों के परिवार वालों को पांच-पांच लाख रुपये सहायता राशि देने की घोषणा की.
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