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इलस्ट्रेशन: दीक्षा मल्होत्रा
स्क्रिप्टराइटर: मैत्रेयी रमेश, शैली वालिया
दिल्ली हाईकोर्ट की दो जजों की बेंच ने 11 मई को मैरिटल रेप (Marital Rape) मामले में विभाजित फैसला सुनाया. भारतीय दंड संहिता की धारा 375 का अपवाद 2, पति का अपनी पत्नी के साथ (अगर पत्नी की उम्र 15 साल से अधिक हो) जबरन सेक्स अपराध नहीं मानता है.
इस देश में भले ही मैरिटल रेप अब भी अपराध नहीं है, लेकिन इन कानूनों से परे उन महिलाओं की कहानियां हैं, जो सालों से इस शोषण और हिंसा का शिकार हो रही हैं.
इस ग्राफिक नॉवेल में पढ़िए राजस्थान की 23 साल की महिला अनीता की कहानी, जो छह साल बाद मैरिटल रेप और हिंसा की जिंदगी से बच पाई.
(सर्वाइवर और उसके बच्चे का नाम और कुछ जानकारी सुरक्षा के लिए बदल दी गई है.)
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