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राम मंदिर के ट्रस्ट में मोहन भागवत को नहीं होना चाहिए: VHP

VHP ने इस फैसले को लेकर कोई कारण नहीं बताया है.

क्विंट हिंदी
भारत
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VHP के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने कहा कि ट्रस्ट में संघ प्रमुख मोहन भागवत को नहीं होना चाहिए
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VHP के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने कहा कि ट्रस्ट में संघ प्रमुख मोहन भागवत को नहीं होना चाहिए
(फाइल फोटो)

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अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए बनने जा रहे ट्रस्ट का अध्यक्ष संघ प्रमुख मोहन भागवत को बनाने की उठ रही मांगों पर विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने बड़ा बयान दिया है. संघ के प्रचारक रहे और मौजूदा समय VHP के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने पत्रकारों से बातचीत में ऐसी मांगों को खारिज करते हुए कहा कि ट्रस्ट में संघ प्रमुख मोहन भागवत को नहीं होना चाहिए. हालांकि उन्होंने इसे लेकर कोई कारण नहीं बताया.

बाद में VHP के एक राष्ट्रीय पदाधिकारी ने कहा, "संघ के शीर्ष पदाधिकारी किसी ट्रस्ट का खुद हिस्सा बनने में विश्वास नहीं रखते. संघ में ऐसी परंपरा भी नहीं रही है. संघ प्रमुख के सामने अगर कोई प्रस्ताव रखेगा भी तो वह इन्कार कर देंगे."

बता दें कि बीते दिनों महंत परमहंस महाराज ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के प्रमुख मोहन भागवत को अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए बनने वाले ट्रस्ट का अध्यक्ष बनाने की मांग की थी. उन्होंने कहा था कि इसके लिए वह (महंत परमहंस) अनशन पर भी बैठ सकते हैं.

ऐसे में VHP के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जब नागपुर दौरे पर पहुंचे, तो पत्रकारों ने इससे जुड़ा सवाल कर दिया. इसके जवाब में उन्होंने कहा कि संघ प्रमुख मोहन भागवत को राम मंदिर ट्रस्ट का अध्यक्ष नहीं बनना चाहिए.

VHP के एक पदाधिकारी ने कहा :

“संघ के प्रचारक या वरिष्ठ पदाधिकारी समाज के काम को समाज के लोगों के जरिए ही आगे बढ़ाने में विश्वास रखते हैं. खुद ट्रस्ट में पद लेना उन्हें उचित नहीं लगता.”

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद के फैसले में कहा था कि विवादित 2.77 एकड़ जमीन हिंदुओं को दी जाए. इसके साथ ही उसने कहा था कि केंद्र सरकार 3 महीने के अंदर योजना बनाए और मंदिर निर्माण के लिए एक ट्रस्ट का गठन करे, वहीं मुस्लिमों (सुन्नी वक्फ बोर्ड) को मस्जिद के लिए दूसरी जगह 5 एकड़ जमीन दी जाए.

(सोर्स: IANS)

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