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पीएम मोदी ने लोकसभा में राष्ट्रपति के संबोधन पर आभार प्रस्ताव की चर्चा में जवाब दिया. इस दौरान उन्होंने कहा कि, राष्ट्रपति जी का भाषण भारत के 130 करोड़ नागरिकों की संकल्प शक्ति का परिचय है. विपरीत काल में भी ये देश किस प्रकार से अपना रास्ता चुनता है, अपना रास्ता तय करता है और कैसे आगे बढ़ता है, ये सारी बातें राष्ट्रपति जी ने कही हैं. उनका एक-एक शब्द देश वासियों में एक नया विश्वास पैदा करने वाला है. हम उनका आभार व्यक्त करते हैं. पीएम मोदी ने इस दौरान किसानों का भी जिक्र किया और कहा कि हम लगातार बातचीत के लिए तैयार हैं.
कृषि कानूनों को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि तीन कृषि कानून लाए गए, कई सालों से जो हमारा कृषि क्षेत्र चुनौतियां झेल रहा है, उनके लिए हमें सुधार करना ही होगा. हमें इन्हें अभी से डील करना होगा, इसके लिए हमें प्रयास करना होगा. मैं देख रहा था कि कांग्रेस के साथी कानून के कलर पर तो बहुत चर्चा कर रहे थे कि ब्लैक है या व्हाइट है. लेकिन अच्छा होता उसके कंटेंट पर चर्चा करते, अच्छा होता कि उसके उद्देश्य पर चर्चा करते. जिससे देश के किसानों तक सही चीज पहुंच सकती थी.
पीएम मोदी ने कहा कि, दिल्ली के बाहर जो किसान आंदोलन पर बैठे हैं, उनका हम आदर करते हैं. किसान गलत धारणाओं का शिकार हुए हैं. सरकार के वरिष्ठ मंत्री लगातार उनसे बातचीत कर रहे हैं. किसानों के प्रति सम्मान भाव के साथ कर रहे हैं. जब पंजाब में आंदोलन चल रहा था तब भी बात हो रही थी. किसानों की समस्याओं को खोजने का पूरा प्रयास किया गया. बिंदुवार चर्चा के लिए कहा गया. अगर इसमें कोई कमी है तो बदलाव करने में कुछ नहीं जाता है. अब भी हम इंतजार कर रहे हैं कि अगर वो जो चीज बताते हैं और वो चीज सही होती है तो हम बदलाव को तैयार हैं.
जब किसानों के मुद्दे पर संसद में हंगामा होना शुरू हुआ तो पीएम मोदी ने कहा कि ये एक सोची समझी रणनीति का हिस्सा है. ये रणनीति है कि जो झूठ फैलाया है, उसका पर्दाफाश हो जाएगा. सत्य वहां पहुंच जाएगा तो उनका टिकना मुश्किल हो जाएगा. लेकिन इससे कभी भी आप लोगों का विश्वास नहीं जीत पाओगे.
पीएम मोदी ने कहा कि,
इस आंदोलन का एक नया तरीका है, ये आंदोलनकारियों का तरीका नहीं है ये आंदोलनजीवियों का तरीका है. जो होना ही नहीं है उसका भय पैदा कर दिया जाता है. ये जो तौर तरीके हैं, वो सबकी चिंता का विषय होना चाहिए, देश की चिंता का विषय होना चाहिए. पीएम मोदी ने आगे कहा-
पीएम मोदी ने कहा कि कोरोना के बाद दुनिया में नया ऑरा बनेगा. नए रिश्ते बनेंगे. ऐसी स्थिति में भारत विश्व से कटकर नहीं रह सकता, हमें भी एक मजबूत प्लेयर क रूप में उभरना होगा. सिर्फ जनसंख्या के आधार पर हम मजबूती का दावा नहीं कर सकते, नए वर्ल्ड ऑरा में जगह बनाने के लिए हमें आत्मनिर्भर भारत का सहारा लेना होगा. आज हिंदुस्तान के हर कोने में वोकल फॉर लोकल सुनाई दे रहा है.
जब देश आजाद हुआ तो जो आखिरी ब्रिटिश कमांडर थे उन्होने कहा था कि भारत कई देशों का महाद्वीप है और कोई भी कभी इसे एक राष्ट्र कभी नहीं बना पाएगा. लेकिन भारत वासियों ने इस आशंका को तोड़ा. आज हम विश्व के सामने एक राष्ट्र के रूप में खड़े हैं और विश्व के लिए आशा की किरण बनकर खड़े हैं. लोकतंत्र हमारी हर सांस में घुला हुआ है. अनेक चुनाव आए, अनेक सत्ता परिवर्तन आए, जिसे लोगों ने स्वीकार करके आगे बढ़ाया. हमारा देश विविधताओं से भरा है. इसके बावजूद हमने एक लक्ष्य एक राह करके दिखाया है.
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