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इंसेफेलाइटिस से लगातार हो रही बच्चों की मौत के बाद नीतीश कुमार सरकार ने सख्त कदम उठाया है. बिहार के मुजफ्फरपुर जिले के श्रीकृष्णा मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल के सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर भीमसेन गुप्ता को सस्पेंड कर दिया गया है. ताजा अपडेट के मुताबिक, मुजफ्फरपुर में चमकी बुखार से मरने वाले बच्चों की संख्या बढ़कर 129 हो गई है.
सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर भीमसेन गुप्ता को तैनाती स्थल पर काम में लापरवाही की वजह से सस्पेंड किया गया है. बिहार स्वास्थ्य मंत्रालय ने भीमसेन गुप्ता को 19 जून को एसकेएमसीएच हॉस्पिटल में रेजिडें डॉक्टर के पद पर तैनात किया था. लेकिन उनकी तैनाती के बाद भी हालातों पर काबू नहीं पाया जा सका.
कृष्णा मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल (SKMCH) के पीछे शनिवार को इंसानी कंकाल के अवशेष मिले थे. इस मामले में 22 जून को एक जांच टीम ने मौके का दौरा किया. जांच टीम ने बताया, ''यहां इंसानी कंकाल के अवशेष मिले हैं. विस्तृत जानकारी प्रिंसिपल की तरफ से दी जाएगी.''
बता दें कि बिहार के 16 जिलों में चमकी बुखार का कहर है, जिसकी चपेट में 600 से ज्यादा बच्चे आए हैं. बता दें कि मुजफ्फरपुर और इसके आसपास के क्षेत्रों में हर साल ये बीमारी फैलती है. उत्तर बिहार के मुजफ्फरपुर, पूर्वी चंपारण, पश्चिम चंपारण, शिवहर, सीतामढ़ी और वैशाली जिले में इस बीमारी का ज्यादा असर दिख रहा है.
हाल ही में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने SKMCH का दौरा किया था.
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