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जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने बृहस्पतिवार को केन्द्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि अभिनेत्री दीपिका जब मोदी सरकार की योजनाओं का प्रचार कर रही थीं तो देशभक्त थीं, लेकिन जेएनयू जाते ही देशद्रोही हो गईं।
कुमार ने यहां मानव संसाधन विकास मंत्रालय के बाहर जमा भीड़ को संबोधित करते हुए यह भी कहा कि 2014 से पहले कोई ''टुकड़े-टुकड़े'' सरकार नहीं थी।
भाजपा ''टुकड़े-टुकड़े गैंग'' शब्द का इस्तेमाल अलगाववादियों से कथित रूप से सहानुभूति रखने वालों के लिये करती है।
दरअसल, पांच जनवरी को नकाबपोश भीड़ ने जेएनयू में छात्रों पर हमला कर दिया था। हमले में घायल छात्रों के साथ एकजुटता दिखाने के लिये दीपिका मंगलवार को जेएनयू गईं थी। हालांकि उस दौरान उन्होंने कुछ नहीं बोला था।
दीपिका के जेएनयू जाने पर एक वर्ग ने उनकी प्रशंसा की तो वहीं दूसरी ओर कुछ लोगों ने तीखी आलोचना भी की।
दीपिका पादुकोण और बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधू को पिछले साल 22 अक्टूबर को मोदी सरकार की पहल ''भारत की लक्ष्मी'' का एंबेसडर बनाया गया था। इस पहल का मकसद देशभर में महिलाओं द्वारा किए गए सराहनीय कार्यों को प्रकाश में लाना था।
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