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बिहार (Bihar) विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने बीजेपी पर एक बार फिर हमला बोला है. तेजस्वी यादव ने कहा है कि बीजेपी से मुकाबला करने के लिए विपक्षी दलों को रणनीति पर एक साथ काम करने के लिए मतभेदों और अहंकार को अलग रखना चाहिए और ऐसा करने में विफल रहने पर इतिहास उन्हें माफ नहीं करेगा.
द इंडियन एक्सप्रेस के आइडिया एक्सचेंज कार्यक्रम में आरजेडी नेता ने कहा कि विपक्ष के लिए मुद्दों की कोई कमी नहीं है लेकिन उनकी रणनीति "वास्तविक मुद्दों" पर आधारित होनी चाहिए.
तेजस्वी यादव ने कहा कि ममता बनर्जी, अखिलेश यादव और शरद पवार जैसे नेता देश की स्थिति के बारे में चिंतित हैं और समय-समय पर बोलते भी हैं, उन्हें एक साथ मिलकर विभिन्न राज्यों में जाने की जरूरत है.
तेजस्वी यादव से पूछा गया कि क्या कांग्रेस की आंतरिक समस्याएं एक बाधा बन सकती है, इस पर उनका मानना है कि कांग्रेस को विपक्ष के लिए "आधार" होना चाहिए, क्योंकि पार्टी 200 सीटों पर बीजेपी के साथ सीधे मुकाबले में है और उसके पास राष्ट्रीय संगठन है. हालांकि, जहां भी क्षेत्रीय दल मजबूत हैं, उन्हें वहां "ड्राइविंग सीट" पर रहने दिया जाना चाहिए.
तेजस्वी ने कहा कि लोगों को बीजेपी के अलावा एक विकल्प की जरूरत है. तेजस्वी ने कहा, 'हमें एक रणनीति बनानी होगी. हम इस सरकार को कैसे घेर सकते हैं? क्योंकि लोग वास्तव में परेशान हैं. लोग चाहते हैं कि यह सरकार जल्द से जल्द गिर जाए. जिन लोगों ने उन्हें वोट दिया, वे अपनी गलती स्वीकार कर रहे हैं.
लेकिन देश के सामने एक विकल्प पेश करना हमारी जिम्मेदारी है. इसके लिए सबसे जरूरी है एक साथ बैठना, अहंकार और निजी स्वार्थ को अलग करके देश को बचाने के लिए सोचना, संविधान को बचाने के लिए कुछ कड़े कदम उठाने होंगे.
तेजस्वी का मानना है कि, बीजेपी-आरएसएस का एक ही एजेंडा है, "वे एक हिंदू राष्ट्र चाहते हैं."
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