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वंदे मातरम गाने को लेकर महाराष्ट्र में राजनीति शुरू 

मद्रास हाई कोर्ट ने यह फैसला सुनाया था कि राष्ट्रगीत ‘वंदे मातरम’ सभी स्कूलों और कॉलेजों में गाना अनिवार्य होगा.

द क्विंट
पॉलिटिक्स
Updated:


‘वंदे मातरम ‘ पर मद्रास हाईकोर्ट के आदेश को लेकर अब महाराष्ट्र में राजनीतिक तकरार शुरू हो गई है.
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‘वंदे मातरम ‘ पर मद्रास हाईकोर्ट के आदेश को लेकर अब महाराष्ट्र में राजनीतिक तकरार शुरू हो गई है.
(फोटो:Harsh Sahani/The Quint)

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'वंदे मातरम ' पर मद्रास हाईकोर्ट के आदेश को लेकर अब महाराष्ट्र में राजनीतिक तकरार शुरू हो गई है. दरअसल, बीजेपी के एक एमएलए ने गुरुवार को राज्य के स्कूलों और कॉलेजों में इसे लागू करने की मांग की थी, जबकि एआईएमआईएम और समाजवादी पार्टी के विधायकों ने इस कदम का विरोध किया.

महाराष्ट्र से बीजेपी एमएलए राज पुरोहित ने राष्ट्रीय गीत अनिवार्य करने को लेकर राज्य सरकार से नया कानून बनाने की मांग उठाई है.

राज पुरोहित ने कहा, "मैं मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गुजारिश करूंगा कि मद्रास हाईकोर्ट के हाल ही में वंदे मातरम गीत को अनिवार्य करने वाले फैसले को महाराष्ट्र में भी अपनाया जाए."

पुरोहित के इस बयान का जवाब देते हुए समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष और विधायक अबू आजमी ने कहा कि वो वंदे मातरम का बेहद सम्मान करते हैं, लेकिन इसे किसी भी हालत में नहीं गाएंगे, चाहे कुछ भी हो जाए.

‘गोली मार दो फिर भी नहीं गाएंगे’

आजमी ने कहा,

जब भारत का बंटवारा हुआ, तब कहीं ये बात नहीं कही गई कि हम मुस्लिम अगर भारत में रहते हैं तो हमें इसे गाने के लिए मजबूर किया जाएगा. आप मुझे गोली मार सकते हैं, या देश से बाहर फेंक सकते हैं, लेकिन हम इसे नहीं गाएंगे.

आजमी के सुर में सुर मिलाते हुए एआईएमआईएम के एमएलए वारिस पठान ने भी ऐलान किया है, कि उनके सिर पर बंदूक रख दी जाए या गले पर चाकू रख दिया जाए, फिर भी वह वंदे मातरम नहीं गाएंगे.

पठान ने कहा कि उनकी पार्टी ने हमेशा इसका विरोध किया है और अगर इस मुद्दे को विधानसभा में उठाया गया, तब भी वो इसका विरोध करेंगे.

वंदे मातरम से देशभक्ति साबित नहीं हो सकती

दोनों ही नेताओं ने कहा कि उन्हें यह गीत गाकर कोई उनकी 'देशभक्ति' साबित करने के लिए मजबूर नहीं कर सकता और कोई भी सच्चा मुसलमान इसे नहीं गाएगा, क्योंकि इस्लाम में इसकी इजाजत नहीं है.

शिवसेना भी कूद पड़ी मैदान में

विवाद को और तूल देते हुए शिवसेना के नेता और परिवहन मंत्री दिवाकर रावते ने आजमी और पठान को 'देशद्रोही' कह डाला.

वो देशद्रोही हैं. उन्हें पता होना चाहिए कि वंदे मातरम से देशप्रेम झलकता है और हमारे सैनिक इस देश के लिए अपना जीवन न्योछावर कर रहे हैं. अगर उन्हें इतनी शर्म आती है और राष्ट्रीय गीत नहीं गाना चाहते तो बेहतर होगा कि वे पाकिस्तान चले जाएं.
दिवाकर रावते, परिवहन मंत्री, महाराष्ट्र

क्या है मद्रास हाईकोर्ट का मामला?

मद्रास हाईकोर्ट ने हाल ही में एक केस के दौरान यह फैसला सुनाया है कि राष्ट्रगीत 'वंदे मातरम' सभी स्कूलों, कॉलेजों और शैक्षणिक संस्थानों में हफ्ते में एक दिन गाना होगा. इसके साथ ही सभी सरकारी और प्राइवेट ऑफिस में महीने में एक दिन 'वंदे मातरम' गाना ही होगा.

(इनपुट: IANS से)

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Published: 28 Jul 2017,08:08 AM IST

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