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नई दिल्ली, 10 फरवरी (आईएएनएस)| कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के बहनोई रॉबर्ट वाड्रा की मुश्किलें जल्द समाप्त होने वाली नहीं हैं क्योंकि जांच एजेंसियां उनकी स्काइलाइट हॉस्पिटेलिटी कंपनी से जुड़े विभिन्न मामलों में आने वाले दिनों में फिर उनसे पूछताछ कर सकती हैं।
हाल ही में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने धन शोधन के मामले में रॉबर्ट वाड्रा से तीन दिनों तक पूछताछ की।
सूत्रों के अनुसार, ईडी अब उनसे राजस्थान के बीकानेर में जमीन घोटाले से जुड़े मामले में 12 फरवरी को जयपुर में पूछताछ करने वाली है।
राजस्थान उच्च न्यायालय ने वाड्रा और उनकी मां मौरीन वाड्रा को 12 फरवरी को ईडी के समक्ष पेश होकर उनकी कंपनी पर धन शोधन के आरोपों का जवाब देने को कहा है।
रॉबर्ट वाड्रा और कंपनी में साझेदार उनकी मां को पिछले साल नवंबर में तीसरी बार समन जारी किया गया था, लेकिन वे पेश होने के बजाय किसी प्रकार की प्रतिरोधी कार्रवाई नहीं करने और उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगाने की मांग करते हुए उच्च न्यायालय पहुंचे। राजस्थान उच्च न्यायालय ने उनको मामले में जांच एजेंसी का सहयोग करने का निर्देश दिया।
एजेंसी ने सितंबर 2015 में धन शोधन का मामला दर्ज किया था, जिसमें स्काईलाइट हॉस्पिेलिटी पर बीकानेर के कोलायत गांव में गरीबों के पुनर्वास की जमीन का अधिग्रहण करने का आरोप है। आरोप है कि वाड्रा ने सस्ते दाम पर 69.55 हेक्टेयर जमीन खरीदी और उसे अवैध लेन-देन के माध्यम से अलेगेनी फिनलीज को 5.15 करोड़ रुपये में बेच दिया।
एजेंसी के दावों के अनुसार, जांच में पाया गया कि अलेगेनी का कोई रियल बिजनेस नहीं है और अंशधारक भी फर्जी पाए गए।
इससे पहले केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने 2017 में राजस्थान सरकार के आग्रह पर बीकानेर जमीन सौदे के सिलसिले में 18 मामले दर्ज किए थे।
इन 18 मामलों में चार मामले स्काईलाइट हॉस्पिटेलिटी के खिलाफ दर्ज किए गए हैं।
ईडी सूत्रों के अनुसार, गुरुग्राम के शिकोहपुर गांव में एक जमीन सौदे से जुड़े मामले में आने वाले दिनों में नया मामला दर्ज किए जाने पर भी वाड्रा को पूछताछ के लिए बुलाया जा सकता है।
गुरुग्राम में 2009-12 के दौरान 1,417 एकड़ जमीन आवंटन में कथित अनियमितताओं को लेकर सीबीआई ने 23 जनवरी को हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और कई अन्य के खिलाफ एक मामला दर्ज किया, जिसमें 15 निजी बिल्डर भी शामिल हैं।
हरियाणा पुलिस ने पिछले साल दो सितंबर को वाड्रा और हुड्डा के खिलाफ गुरुग्राम के जमीन सौदे में कथित अनियमितताओं को लेकर मामला दर्ज किया था। वाड्रा पर आरोप है कि उनकी कंपनी ने शिकोहपुर गांव में 2008 में डीएलएफ को 3.5 एकड़ जमीन उस समय प्रचलित दर से काफी ऊंची कीमत पर बेची थी।
ईडी ने वाड्रा पर उनके करीबी मनोज अरोड़ा के खिलाफ धनशोधन के एक मामले में भी शिकंजा कसा है। भगोड़ा आर्म्स डीलर संजय भंडारी के खिलाफ एक अन्य मामले में आयकर विभाग की जांच के दौरान मनोज अरोड़ा की भूमिका उजागर हुई थी।
कथित तौर पर लंदन की जायदाद भंडारी ने खरीदी थी और इसके नवीकरण पर अतिरिक्त खर्च के बावजूद उसे उतनी ही राशि में 2010 में बेच दिया था।
ईडी का कहना है कि उसे लंदन में वाड्रा की कई नई जायदादों के बारे में सूचना मिली है, जिनमें दो घर हैं। एक घर की कीमत 50 लाख पौंड और दूसरे की कीमत 40 लाख पौंड है। इसके अलावा छह फ्लैट हैं। इन जायदादों की कुल कीमत 120 लाख पौंड है।
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