Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019News Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019सर्वोच्च न्यायालय ने अवमानना याचिका पर मनोज तिवारी से जवाब मांगा

सर्वोच्च न्यायालय ने अवमानना याचिका पर मनोज तिवारी से जवाब मांगा

सर्वोच्च न्यायालय ने अवमानना याचिका पर मनोज तिवारी से जवाब मांगा

IANS
न्यूज
Published:
सर्वोच्च न्यायालय ने अवमानना याचिका पर मनोज तिवारी से जवाब मांगा
i
सर्वोच्च न्यायालय ने अवमानना याचिका पर मनोज तिवारी से जवाब मांगा
null

advertisement

नई दिल्ली, 25 सितम्बर (आईएएनएस)| सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को भाजपा की दिल्ली इकाई के अध्यक्ष मनोज तिवारी से एक हलफनामा दाखिल कर यह बताने को कहा कि उन्होंने दिल्ली के गोकुलपुर गांव में एक सील संपत्ति का ताला क्यों तोड़ा।

न्यायमूर्ति मदन बी. लोकुर, न्यायमूर्ति अब्दुल एस. नजीर और न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता ने तिवारी के इस बयान पर कड़ी आपत्ति जताई कि शीर्ष अदालत द्वारा नियुक्त निगरानी समिति हजारों अनधिकृत इमारतों को सील नहीं कर रही है।

तिवारी द्वारा सील तोड़ने के वीडियो का संदर्भ देते हुए अदालत ने तिवारी से कहा, आप अपनी सीडी में कह रहे हैं कि यहां एक हजार स्थान हैं, जो सील होने चाहिए..आप हमें उन स्थानों की सूची दीजिए, हम आपको सीलिंग अधिकारी बना देंगे। इस दौरान तिवारी अदालत में मौजूद थे।

शीर्ष अदालत ने तिवारी से उनके खिलाफ दाखिल अवमानना याचिका पर हलफनामा दाखिल करने और तीन अक्टूबर को अगली सुनवाई पर मौजूद रहने को कहा।

पीठ ने कहा, यह महत्वपूर्ण है कि निर्वाचित सदस्यों को इस अदालत के आदेश का उल्लंघन नहीं करना चाहिए।

तिवारी के कृत्य को 'दुर्भाग्यपूर्ण' करार देते हुए अदालत ने कहा कि यह परेशान करने वाला है कि शीर्ष अदालत द्वारा दिए गए आदेश पर चल रहे सीलिंग अभियान के बावजूद एक सांसद कथित रूप से कुछ परिसरों की सील तोड़ रहा है।

अवमानना याचिका में तिवारी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई है।

निगरानी समिति की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता रंजीत कुमार ने पीठ को बताया कि तिवारी ने मंगलवार को फिर से गांव का दौरा किया और निगम अधिकारियों द्वारा शुरू किए गए सीलिंग अभियान के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया।

पुलिस ने अवैध रूप से ताला तोड़ने के लिए तिवारी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है।

उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 188 और दिल्ली नगर निगम (डीएमसी) अधिनियम की धारा 461 और 465 के तहत मामला दर्ज किया गया है।

(ये खबर सिंडिकेट फीड से ऑटो-पब्लिश की गई है. हेडलाइन को छोड़कर क्विंट हिंदी ने इस खबर में कोई बदलाव नहीं किया है.)

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

Published: undefined

Read More
ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT