Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019News Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Webqoof Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019देह व्यापार में लिप्त आरोपियों की पुरानी फोटो, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी की बता वायरल

देह व्यापार में लिप्त आरोपियों की पुरानी फोटो, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी की बता वायरल

फोटो शेयर कर ये झूठा दावा किया जा रहा है कि ये इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र हैं जिन्हें बम बनाते गिरफ्तार किया गया

सर्वजीत सिंह चौहान
वेबकूफ
Published:
<div class="paragraphs"><p>फोटो शेयर कर ये झूठा दावा किया जा रहा है कि ये इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र हैं</p></div>
i

फोटो शेयर कर ये झूठा दावा किया जा रहा है कि ये इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र हैं

(फोटो: Altered by the Quint)

advertisement

सोशल मीडिया पर एक फोटो शेयर हो रही है, जिसमें कुछ युवक और युवतियों के साथ पुलिसकर्मी देखे जा सकते हैं. दावा किया जा रहा है कि ये फोटो इलाहाबाद यूनिवर्सिटी (Allahabad Univeristy) के छात्रों की है, जिन्हें हॉस्टल में बम बनाते हुए पकड़ा गया है.

हालांकि, ये फोटो इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में बम बनाते पकड़े गए छात्रों की नहीं, बल्कि रतलाम में पकड़े गए एक सेक्स रैकेट गिरोह की है.

दावा

फोटो के साथ ये टेक्स्ट लिखा हुआ है, ''आतंकवाद का नया अड्डा इलाहाबाद विश्वविद्यालय
हॉस्टल 25 छात्र बम बनाते पकड़े 58 कमरे सील मीडिया खामोश क्योंकि एक भी मुस्लिम नाम नही''

पोस्ट का आर्काइव देखने के लिए यहां क्लिक करें

(सोर्स: स्क्रीनशॉट/फेसबुक)

ये दावा फेसबुक और ट्विटर दोनों जगह कई यूजर्स ने किया है. इनके आर्काइव आप यहां, यहां और यहां देख सकते हैं.

पड़ताल में हमने क्या पाया

घटना की हकीकत सोशल मीडिया पर शेयर किए जा रहे दावे से अलग है. हमें Dainik Bhaskar पर 3 साल पहले पब्लिश एक आर्टिकल मिला. आर्टिकल में इसी तस्वीर का इस्तेमाल किया गया था. आर्टिकल के मुताबिक, मध्य प्रदेश के रतलाम जिले में सेक्स रैकेट के आरोपी गिरोह का भंडाफोड़ पुलिस ने किया था.

इस आर्टिकल में वायरल फोटो का इस्तेमाल किया गया था

(सोर्स: स्क्रीनशॉट/Daink Bhaskar)

इसके अलावा, Patrika पर पब्लिश 15 जुलाई 2019 की रिपोर्ट और मंदसौर संदेश नाम की एक लोकल न्यूज वेबसाइट पर भी हमें घटना से जुड़ी रिपोर्ट मिली. इनमें इसी फोटो का इस्तेमाल किया गया था. स्टोरी के मुताबिक, पुलिस ने दबिश के दौरान देह व्यापार में संलिप्त 8 युवतियों व 15 युवकों को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की थी. यही दावा 2019 में भी किया गया था जिसकी पड़ताल द क्विंट ने की थी.

इसके अलावा, 2019 की शुरुआत में इस फोटो को इस झूठे दावे से भी शेयर किया गया था कि ये बच्चा चोर गिरोह की फोटो है, तब भी द क्विंट ने इसकी पड़ताल की थी.
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

क्विंट ने तब रतलाम एसपी गौरव तिवारी से संपर्क किया था, जिन्होंने बताया था कि 14 जुलाई को, सेक्स रैकेट में शामिल 8 युवितयों और 15 युवकों को गिरफ्तार किया गया था. इन लड़कियों में से एक नाबालिग थी. रतलाम के जावरा तहसील के दो धार पुलिस स्टेशन ने इस रैकेट का भंडाफोड़ किया था.

मतलब साफ है, कि मध्य प्रदेश में 2019 में पकड़े गए सेक्स रैकेट गिरोह की फोटो इस गलत दावे से शेयर की जा रही है कि ये इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र हैं जिन्हें बम बनाते हुए पकड़ा गया था.

(अगर आपके पास भी ऐसी कोई जानकारी आती है, जिसके सच होने पर आपको शक है, तो पड़ताल के लिए हमारे वॉट्सऐप नंबर 9643651818 या फिर मेल आइडी webqoof@thequint.com पर भेजें. सच हम आपको बताएंगे. हमारी बाकी फैक्ट चेक स्टोरीज आप यहां पढ़ सकते हैं )

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

Published: undefined

ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT