advertisement
चार अरब देशों ने सोमवार को कतर से अपने राजनयिक संबंध तोड़ लिए हैं. इन देशों ने कतर पर आतंकवाद को सहयोग देने और उनके आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करने का आरोप लगाते हुए संबंध तोड़े हैं. कतर में साल 2022 में फीफा वर्ल्डकप भी होना है. ऐसे में चार देशों के कतर से रिश्ता तोड़ने के बाद सवाल ये है कि क्या इसका असर फीफा के आयोजन पर भी पड़ेगा.
सऊदी अरब, बहरीन, मिस्र और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने सोमवार को कतर के साथ राजनयिक संबंध तोड़ते हुए अपने राजनयिकों को वापस बुला लिया है. साथ ही इन देशों ने कतर के सभी राजनयिकों को देश छोड़कर चले जाने को कह दिया है.
कतर साल 2022 में फीफा वर्ल्डकप की मेजबानी करने वाला है. इस टूर्नामेंट के पांच साल पहले ही कतर में करीब 580 करोड़ रुपये की लागत से स्टेडियम तैयार किया गया है. इस स्टेडियम को खिलाड़ियों के कंफर्ट को ध्यान में रखकर बनाया गया है. कतर के टेंपरेचर को ध्यान में रखते हुए पूरा स्टेडियम एयरकंडीशंड है.
फीफा आयोजन होने में अभी चार साल का वक्त है. लेकिन जिस तरह से सऊदी अरब, बहरीन, मिस्त्र और संयुक्त अरब अमीरात ने कतर पर आतंकवाद को बढ़ावा देने के आरोप लगाए हैं और मित्र राष्ट्रों से कतर को किनारे कर देने की अपील की है, उससे फीफा के आयोजन पर भी सवाल खड़ा हो गया है.
इन चारों देशों ने कतर के साथ न केवल राजनयिक संबंध तोड़े हैं, बल्कि जमीन, हवाई और समुद्री संपर्क तोड़ने का भी ऐलान किया है. बहरीन ने कतर में रह रहे अपने सभी नागरिकों को वहां से लौटने के लिए 14 दिन का वक्त दिया है. सऊदी अरब ने अपने फैसले की जानकारी देते हुए कहा कि सऊदी को आतंकवाद और कट्टरपंथ से बचाने के लिए यह कदम उठाना जरूरी हो गया था. सऊदी ने अपने सभी मित्र राष्ट्रों और कंपनियों से भी अपील की है कि वे भी कतर के साथ सभी तरह के संपर्क तोड़ दें.
मिस्र और UAE ने भी कतर के साथ सभी तरह के संबंध तोड़ने की घोषणा की है. मिस्र ने कतर पर आतंकवादी संगठनों को समर्थन देने का आरोप लगाया है वहीं UAE का कहना है कि कतर पूरे पश्चिम एशिया क्षेत्र की सुरक्षा को अस्थिर करने की कोशिश कर रहा है.
(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)