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इस IPL सीजन की शुरुआती हफ्ते में ही कुछ बहुत ही रोमांचक फिनिश और यादगार प्रदर्शन देखने को मिले. इसी के साथ हम सभी की राय भी बदल गई है कि बड़े चोटिल खिलाड़ियों के वजह से IPL-10 थोड़ा फीका-फीका सा रहेगा. जैसा हमें बताया गया है, ज्यादातर मैदान दर्शकों से खचाखच भरे रहे हैं जबकि पिछले साल सभी भारतीय स्टार्स की मौजूदगी के बाद भी आईपीएल ने बहुत खराब शुरुआत की थी.
पिछले सीजन का IPL एशिया कप और टी-20 वर्ल्ड कप के ठीक बाद शुरु हुआ था इसलिए IPL की शुरुआत कुछ खास नहीं रही थी. शुरुआती कुछ मैच बहुत बोरिंग थे जिसने लोकप्रियता को और ज्यादा घटा दिया. लेकिन, इस साल IPLसीजन 6 महीने की नॉनस्टॉप टेस्ट क्रिकेट के बाद हो रहा है. जिसकी वजह से क्रिकेट के इस सबसे छोटे फॉर्मेट के लिए लोगों में भारी उत्साह दिखा. पहले हफ्ते में करीबी मुकाबलों ने भी मदद की.
चलिए नजर डालते हैं हर एक टीम की खास रणनीतियों पर और पता लगाते हैं कौन हॉट फेवरेट दिख रहा है...
सनराइजर्स हैदराबाद ने ये सीजन वहीं से शुरू किया है, जहां पिछला सीजन छोड़ा था. उनकी बॉलिंग तो हमेशा से लीग में शानदार थी ही, साथ ही धवन, युवराज और हेनरिके के जबरदस्त फॉर्म में आने से इस बार उन्हें हराना बहुत मुश्किल नजर आता है. उनके प्लेऑफ में खेलने पर कोई संदेह नहीं दिखता... वहीं पिछले साल के रनर-अप रहे आरसीबी थोड़े बेरंग नजर आ रहे हैं... भारतीय खिलाड़ियों के ना खेलने की वजह से IPL की टी.आर.पी पर कोई असर नहीं पड़ा है लेकिन RCB के कैंपेन पर जरुर पड़ा है... वो विराट कोहली के वापस आने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं.
कोलकाता ने अपने ओपनिंग कॉम्बिनेशन को बदलने के साथ-साथ टी-20 क्रिकेट को लेकर अपना रुख भी बदल डाला है. IPL 2014 में क्रिस लिन का ही वो कैच था जिसने KKR की किस्मत पलट दी थी और इस सीजन भी वो अपने बल्ले से टीम के लिए शानदार प्रदर्शन कर रहे थे लेकिन दुर्भाग्यपूर्ण तरीके से वो चोटिल हो गए. KKR की टीम में गहराई है और वो कुछ न कुछ तरीका जरूर निकाल लेंगे. लेकिन, इसमें कोई शक नहीं कि वो लिन को मिस करेंगे. वैसे भी अबकी बार आंद्रे रसेल और शाकिब अल-हसन पूरे सीजन के लिए टीम से बाहर हैं.
वहीं गुजरात लायंन्स की टीम में ओपनिंग बल्लेबाजों की इतनी भरमार है कि वो 5 गेंदबाजों को खिलाने की वैल्यू भूल गए हैं. अपने पहले दो मुकाबलों में वो सिर्फ एक ही विकेट लेने के बाद उन्हें अपनी गेंदबाजी पर काम करने की जरूरत है. ड्वेन ब्रावो और रवींद्र जडेजा की वापसी से उनकी टीम को ताकत मिलेगी.
मुंबई इंडियन्स अपने पहले मैच में चार गेंदबाजों के साथ उतरे और उन्हें हार का सामना करना पड़ा. वहीं अपने दूसरे मैच में उन्होंने पांच गेंदबाज खिलाए और वो जीते. इससे ये तो साबित होता है कि उन्हें अपने हर मैच में पांच गेंदबाजों को खिलाना ही होगा... पांच गेंदबाजों को खिलाने के लिए बहुत सी टीम को एक बल्लेबाज कम खिलाना पड़ता है लेकिन मुंबई के साथ ये अच्छी बात ये है कि उनके पास पांड्या बंधुओं और पोलार्ड के रुप में तीन ऑलराउंडर मौजूद हैं.
किंग्स XI पंजाब अच्छे रंग में दिखाई दे रहे हैं. हर एक खिलाड़ी को अपना रोल पता है. मैक्सवेल ने भी कप्तानी को अच्छे से समझ लिया है और इस बार उनके पिछले सीजन से बेहतर खेल दिखाने की उम्मीद है.
राइजिंग पुणे ने सीजन से पहले कुछ बड़े कदम उठाते हुए 14.5 करोड़ में बेन स्टोक्स को खरीदा और धोनी से कप्तानी लेकर स्मिथ को कमान थमा दी. एक ही खिलाड़ी पर इतने रुपये खर्च करना जोखिम भरा कदम था और उसके परिणाम अब दिख भी रहे हैं. उनकी गेंदबाजी इतनी कमजोर है कि किसी भी तरह का फेरबदल खास मदद नहीं करेगा. अगर इस साल भी वो पॉइंट्स टेबल में नीचे दिखाई दें तो ये चौंकने वाली बात नहीं होगी.
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