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वीडियो एडिटर: मोहम्मद इब्राहीम
इलस्ट्रेशन: अरूप मिश्रा
उत्तर प्रदेश की मथुरा जेल में पिछले 5 महीने से बंद पूर्व लेक्चरर और पीडियाट्रिशन डॉ. कफील खान ने 5 लेटर लिखें हैं. उन लेटर्स में कफील ने जेल की हालत और सरकार से उनकी मांगों का जिक्र किया है. इन लेटर्स से हमें पता चलता है कि डॉ. कफील क्या कहना चाह रहे हैं.
द क्विंट के पास डॉ. कफील खान के लेटर्स की कॉपी है जो उन्होंने जेल से लिखे हैं.
दिसंबर 2019 में CAA के खिलाफ कथित भड़काऊ बयान को लेकर डॉ. खान को 29 जनवरी 2020 को गिरफ्तार किया गया. 4 दिन बाद बेल पर बाहर आए डॉ. खान पर 14 फरवरी को NSA के तहत मामला दर्ज किया गया, उन पर लगे चार्जेज को 12 मई से और 3 महीने आगे बढ़ा दिया गया.
मार्च में कफील खान ने पीएम मोदी को लेटर लिखा. खान ने अपनी चिट्ठी में लिखा कि
खान बताते हैं कि जेल में रहना कितना मुश्किल है, वो कहते हैं- 'हर बरैक में 125 से 150 लोग हैं और सिर्फ 4-5 ही टॉयलेट हैं तो जाहिर तौर पर सभी को लाइन लगानी पड़ती है, अब मेरे पेट में दर्द होने लगा है और जब मैं टॉयलेट में होता हूं तो वहां मच्छर हैं और ये बहुत बदबूदार है जिससे कई बार मुझे उल्टी हुई, इसके बाद नहाने के लिए अलग लाइन लगती है, खाने में पानी जैसी दाल उबली हुई सब्जी ज्यादातर गोभी, पत्ता गोभी और साथ में मूली होती है, मैं जिंदा रहने के लिए उसे पानी से निगल लेता हूं. लॉकडाउन के चलते अब हम अपने परिवार से भी नहीं मिल सकते कई बार मैं फलों से और बाकी खाने से अपनी भूख मिटाता था जब भी वो आते थे साथ लाते थे'
डॉ. कफील खान की पत्नी शबिस्ता खान कहती हैं कि उनके पति को जेल में किसी मुजरिम की तरह रखा जा रहा है. वो कहती हैं-
खान के रिश्तेदार बताते हैं कि ‘ डॉ. कफील के आखिरी लेटर को काफी अटेंशन मिली. मुझे पता चला है कि जेल प्रशासन ने उनसे अब पेपर, पेन और उनकी मैगजीन ले ली है जो उनकी साथी थी’
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