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वीडियो एडिटर: पुर्णेन्दू प्रीतम
"आपने मुझे क्यों छोड़ दिया? आपने मुझे किसी और को क्यों दे दिया? ” - ये वही सवाल थे जो लखनऊ के एक घर में गूंज उठे, जब 2007 में पहली बार राकेश (बदला हुआ नाम) उस महिला से मिला जिसने उसे जन्म दिया था.
11 साल की उम्र में ही स्कूल छूट गया. लालन पालक करने वालों ने उसे बताया कि वो उसके असली माता-पिता नहीं हैं. लेकिन जब वो अपनी असली मां से मिला तब भी राकेश को नहीं पता था कि उसके पिता कौन हैं.
अपने बेटे के साथ सच्चाई शेयर करने में असमर्थ, राखी (बदला हुआ नाम) ने बड़ी मुश्किल से इन सवालों को दरकिनार किया. जैसे-जैसे राकेश बड़ा होता गया, वो बार-बार सवाल करने लगा.
लेकिन, जब 2018 में, बेटे ने खुद की जान लेने की धमकी दी, तो राखी के पास कोई विकल्प नहीं बचा और राखी ने बताया कि कैसे उनके साथ दो भाइयों - गुड्डू और नकी हसन, ने 1994 में कथित तौर पर सामूहिक बलात्कार किया था.
राखी ने 2000 में शादी करने के बाद नए जीवन में कदम रखा था, जिसके बाद उन्होंने दूसरे बेटे को जन्म दिया. हालांकि, दो साल बाद, उनके पति को पहले बच्चे के बारे में पता चल गया और धीरे-धीरे उसने उनके साथ संबंध ख़त्म कर लिए.
पांच साल तक अपनी शादी को बचाने की कोशिश करने के बाद, राखी को 2007 में ससुराल छोड़ने के लिए कहा गया. वो अपने दूसरे बेटे के साथ लखनऊ चली गई. सामूहिक बलात्कार की शिकार, अपने बच्चे से अलग, अपने पति से दूर और अब पूरी तरह से अकेली- राखी के लिए जिंदगी आसान नहीं थी, उन्होंने एक नए शहर में जिंदा रहने के लिए अजीब-अजीब तरह के काम किए.
लगभग उसी समय, राकेश का लालन-पालन करने वाले माता-पिता को पता चला कि राखी लखनऊ चली गई है.
लेकिन राकेश के लिए कथित आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए राखी को आश्वस्त करना आसान काम नहीं था. लेकिन राकेश की कोशिश रंग लाई और 3 मार्च 2021 को प्राथमिकी दर्ज की गई.
उनका बयान दर्ज किया गया है और उसकी चिकित्सा जांच कर लगी गई है. हालांकि, अभी तक पुलिस ने आरोपियों से पूछताछ नहीं की है.
(एफआईआर में लिखे गए मोबाइल नंबरों के ज़रिए क्विंट ने आरोपियों तक पहुँचने की कोशिश की. जहां एक नंबर चालू नहीं है, वहीं दूसरे नंबर पर फ़ोन मिलाने पर किसी दूसरे शख़्स ने फ़ोन उठाया और कहा कि ये नंबर ग़लत है और आरोपियों से उनका कोई संबंध नहीं है.)
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