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दिलो दिमाग में गांधी, मिलिए बापू पर स्पीच देकर हिट हुए आयुष से

आखिरी मौके पर बदल दिया गया था आयुष के भाषण का टॉपिक

क्विंट हिंदी
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आयुष के दिलो दिमाग में गांधी का जीवन दर्शन
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आयुष के दिलो दिमाग में गांधी का जीवन दर्शन
(फोटो: क्विंट हिंदी)

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वीडियो एडिटर: अभिषेक वर्मा

वाराणसी के सेंट्रल हिंदू बॉयज स्‍कूल (सीएचएस) के 11वीं के छात्र आयुष चतुर्वेदी का महात्‍मा गांधी पर दिए भाषण ने उन्हें सोशल मीडिया सेंसेशन बना दिया. लेकिन जिस भाषण ने उन्हें मशहूर किया वो अचानक दिया गया भाषण था. महात्मा गांधी की जगह आयुष ने काका हाथरसी पर भाषण तैयार किया था, लेकिन आखिरी मौके पर टॉपिक बदलकर महात्मा गांधी कर दिया गया.

“भाषण अचानक से दिया. हमारे स्कूल में हर दिन प्रार्थना सभा होती है. हर दिन कोई न कोई छात्र व्याख्यान देता है. 9 सितंबर को मेरी बारी थी. मुझे अलग टॉपिक पर व्याख्यान देना था. काका हाथरसी के ऊपर मुझे व्याख्यान देना था. लेकिन गांधी जी की 150वीं जयंती मनाई जा रही थी तो अचानक से विषय बदला गया और कहा गया कि गांधी जी पर व्याख्यान देना है. जितनी चीजें दिमाग में थी उसे मैंने भाषण का रुप दिया और प्रस्तुत किया.”  
आयुष चतुर्वेदी
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सीएचएस में रोजाना असेंबली के दौरान कोई न कोई छात्र, किसी न किसी विषय पर स्‍पीच देता है. बीते 9 सितंबर को आयुष को मौका मिला.

देश की कई हस्तियों ने भी उनके भाषण को शेयर करने के साथ सराहा. इनमें छत्तीसगढ़ के मुख्‍यमंत्री भूपेश बघेल, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी, शायर इमरान प्रतापगढ़ी शामिल हैं.

क्या गांधी के देश में हैरी पॉटर और चेतन भगत को पढ़ना गलत मानते हैं आयुष?

“पढ़ना गलत नहीं है लेकिन वर्तमान की कुछ ज्यादा ही चीजें दिखा दी गई हैं. अतीत और भविष्य ऐसे उपन्यासों से गायब हैं. क्योंकि हम गांधी के देश में रहते हैं तो जरूरत है कि पहले गांधी को पढ़ें, इसलिए मैंने उनके बारे में व्याख्यान भी दिया और पढ़ता भी रहता हूं.”
आयुष चतुर्वेदी

दिलो दिमाग में गांधी का जीवन दर्शन रखने वाले आयुष आगे चलकर IAS बनना चाहते हैं. साथ ही वो हमारे माध्यम से संदेश देना चाहते हैं कि युवा पीढ़ी गांधी को पढ़े, उन्हें अपनाए क्योंकि गांधी एक विचार का नाम है, विकार का नाम नहीं.

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Published: 24 Sep 2019,10:45 PM IST

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