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कोरोना: 20 साल के सबसे बड़े NPA संकट में फंस सकते हैं भारतीय बैंक

NPA बढ़ने के संबंध में ताजा अनुमानों पर RBI गवर्नर ने क्या कहा

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कोरोना संकट की मार के बाद भारतीय बैंक 20 साल के सबसे बड़े NPA संकट में फंस सकते हैं. RBI की वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘बहुत गंभीर दबाव वाले परिदृश्य में’ बैंकों का ग्रॉस NPA मार्च 2021 तक उनके कुल लोन का 14.7% तक हो सकता है.

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स्टैंडर्ड एंड पूअर्स ने 30 जून की अपनी रिपोर्ट में अनुमान लगाया था कि बैंक ग्रॉस NPA 13-14% तक बढ़ सकता है. यह RBI के पास उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार, मार्च 2000 के ग्रॉस NPA अनुपात 12.7% के बाद से सबसे ज्यादा होगा.

RBI की रिपोर्ट के मुताबिक, शेड्यूल कमर्शियल बैंकों (SCBs) का ग्रॉस नॉन-परफॉर्मिंग एसेट्स (GNPA) अनुपात वित्त वर्ष के अंत तक बढ़कर 12.5 फीसदी हो सकता है, जो मार्च 2020 में 8.5 फीसदी था.

रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘अगर मैक्रोइकनॉमिक माहौल और खराब होता है, तो बहुत गंभीर दबाव वाले परिदृश्य में अनुपात बढ़कर 14.7 फीसदी हो सकता है.’’

PSU बैंकों को लग सकता है तगड़ा झटका

फाइनेंशियल एक्सप्रेस के मुताबिक, PSU बैंकों को बढ़ते NPA से सबसे तगड़ा झटका लगने की आशंका है क्योंकि केंद्रीय बैंक ने अनुमान लगाया है कि तुलनात्मक परिदृश्य के अंतर्गत उनका GNPA अनुपात मार्च 2020 के 11.3 फीसदी से बढ़कर मार्च 2021 तक 15.2 फीसदी हो सकता है. दूसरी तरफ, इसी अवधि में प्राइवेट बैंकों और विदेशी बैंकों का GNPA अनुपात क्रमशः 4.2 फीसदी से 7.3 फीसदी और 2.3 फीसदी से 3.9 फीसदी हो सकता है.

कोरोना वायरस महामारी के प्रभाव ने भारत के बैंकिंग सेक्टर को उस समय प्रभावित किया है, जब यह धीरे-धीरे सुधरने लगा था. सितंबर 2019 में 9.3 फीसदी तक पहुंचने के बाद सभी SCB का GNPA 8.5 फीसदी तक गिर गया था.

NPA बढ़ने के संबंध में ताजा अनुमानों पर, RBI के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि देश की वित्तीय प्रणाली सुदृढ़ है, लेकिन कर्जदाताओं को COVID-19 महामारी के दौरान और उसके बाद भी अत्यधिक जोखिम से बचना चाहिए. दास ने कहा कि बैंकों और फाइनेंशियल इंटरमीडिएरीज के लिए अभी शीर्ष प्राथमिकता पूंजी के स्तर को बढ़ाने और लचीलेपन में सुधार के लिए होनी चाहिए.

इसके अलावा दास ने कहा कि व्यवसायों, निवेशकों और उपभोक्ताओं को भरोसा दिलाने के लिए वित्तीय क्षेत्र की स्थिरता जरूरी है, इस तरह, बैंकों को बेहद सतर्क और केंद्रित रहना होगा.

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