अक्सर सामाजिक मुद्दों पर बेबाकी से राय रखने वाली अभिनेत्री रवीना टंडन का कहना है कि वो कभी राजनीति में नहीं आएंगी. उनका कहना है कि हर मुद्दों पर बेधड़क होकर बोलना पसंद करती हूं, मैं किसी पार्टी से जुड़कर उसके विचारों को नहीं फॉलो कर सकती हूं.
मुझे सभी राजनीतिक पार्टियों से समस्या है, ऐसी कोई पार्टी नहीं है, जिसकी विचारधारा मुझसे मिलती हो. कुछ लोग ऐसे हैं, जिन पर मैं विश्वास करती हूं, लेकिन मुझे आजाद आवाज बने रहना पसंद है. मैं किसी राजनीतिक पार्टी के शोर शराबे में गुम होने की बजाय अपना विचार व्यक्त करना पसंद करती हूं.
रवीना के मुताबिक अगर मेरी संवेदनशीलता यह कहती है कि कुछ गलत है, लेकिन पार्टी उस पर ‘वाह वाह' करती है तो मैं यह नहीं कर सकती. इसलिए मैं किसी राजनीतिक पार्टी में शामिल होने के बजाय अपनी आवाज बेधड़क कहने में यकीन रखती हूं.
ऐसे कुछ लोग हैं जिनके बारे में मैं सोचती हूं कि वो अच्छा काम कर रहे हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि मैं अमुक पार्टी का समर्थन कर रही हूं. आज अगर आप यह कहते हैं कि आपको अपने प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति पर गर्व है तो आपको ट्रोल किया जाएगा.
इंदिरा गांधी का उदाहरण देते हुए रवीना ने कहा कि जब हम यह कहते हैं कि इंदिरा भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री थीं, तब हम गौरव महसूस करते हैं, लेकिन आज ऐसा करना किसी प्रतिबंध के समान है. अगर मोदी जी या राहुल गांधी की प्रशंसा करते हैं तो लोग यही कहेंगे कि आप उनकी राजनीतिक समर्थक हैं.
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