बीजेपी सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने एयर इंडिया में 100 फीसदी हिस्सेदारी बेचने के सरकार के फैसले पर विरोध जताया है. स्वामी ने ट्वीट कर कहा है, ''यह डील पूरी तरह से राष्ट्र विरोधी है और मुझे कोर्ट जाने पर मजबूर होना पड़ेगा.''
इसके साथ ही स्वामी ने 'एयर इंडिया ऑन रिकवरी मोड' शीर्षक वाली एक रिपोर्ट शेयर करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी से पूछा है कि सरकार एयर इंडिया को मजबूत करने के बजाए इसे बेचना क्यों चाहती है.
भारत सरकार ने एयर इंडिया में 100 फीसदी हिस्सेदारी बेचने के लिए 27 जनवरी को प्रारंभिक सूचना वाला मेमोरेंडम जारी किया है. बोली दस्तावेज के मुताबिक, एयर इंडिया लो कॉस्ट एयरलाइन एयर इंडिया एक्सप्रेस में 100 फीसदी हिस्सेदारी और ज्वाइंट वेंचर AISATS में 50 फीसदी शेयर होल्डिंग भी बेचेगी.
एयरलाइन का मैनेजमेंट कंट्रोल भी सफल बोली लगाने वाले को ट्रांसफर कर दिया जाएगा. सरकार ने बोली जमा करने की समयसीमा 17 मार्च तय की है.
बता दें कि AISATS एयर इंडिया और सिंगापुर एयरलाइंस के बीच बराबर हिस्सेदारी वाला ज्वाइंट बेंचर है. यह ग्राउंड हैंडलिंग सेवाएं मुहैया कराता है.
जारी दस्तावेज के मुताबिक, विनिवेश की क्लोजिंग के वक्त एयर इंडिया और एयर इंडिया एक्सप्रेस के साथ 23,286.5 करोड़ रुपये का कर्ज रहेगा. बकाया कर्ज एयर इंडिया एसेट्स होल्डिंग लिमिटेड (AIAHL) को आवंटित कर दिया जाएगा.
स्वामी ने हाल ही में न्यूज एजेंसी आईएएनएस से कहा था, "अभी यह (एयर इंडिया विनिवेश) परामर्शदात्री समिति के सामने है और मैं इसका एक सदस्य हूं. मुझे एक नोट देने के लिए कहा गया है, जिस पर अगली बैठक में चर्चा की जाएगी. वे इसके बिना आगे नहीं बढ़ सकते." उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा था, "अगर वे ऐसा करते हैं तो मैं कोर्ट जाऊंगा, वे यह भी जानते हैं."
कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने इस मामले पर कहा है, ''जब सरकार के पास पैसा नहीं होता तो यही होता है. भारत सरकार के पास पैसा नहीं है, ग्रोथ 5 फीसदी से कम है. MNREGA के अंतर्गत लाखों रुपये बकाया हैं. वे यही करेंगे, उन कीमती संपत्तियों को बेचेंगे, जो हमारे पास हैं.''
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