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कोविड वैक्सीन के लिए हेल्थकेयर वर्कर्स अब नहीं कर सकते रजिस्टर

स्वास्थ्य मंत्रालय ने वैक्सीन के लिए हेल्थकेयर और फ्रंटलाइन वर्कर्स के नए रजिस्ट्रेशन पर रोक लगा दी है.

Published
भारत
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देश में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच, सरकार ने वैक्सीन के लिए फ्रंटलाइन और हेल्थकेयर वर्कर्स के नए रजिस्ट्रेशन पर रोक लगा दी है. स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार को कहा है कि ऐसा सभी कैटेगरी के लिए वैक्सीन कवरेज को बढ़ाने के लिए किया जा रहा है. सरकार के इस फैसले के बाद कोई भी फ्रंटलाइन और हेल्थकेयर वर्कर के रूप में खुद को वैक्सीन के लिए रजिस्टर नहीं करा पाएगा.

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स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि कुछ अयोग्य लाभार्थी इन दो कैटेगरी के तहत खुद को रजिस्टर करा वैक्सीन ले रहे हैं, जो कि नियमों का सीधा उल्लंघन है.

राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को हेल्थकेयर और फ्रंटलाइन वर्कर्स के नए रजिस्ट्रेशन तुरंत रोकने के लिए कहा गया है. साथ ही निर्देश दिया गया है कि पहले से ही रजिस्टर्ड हेल्थकेयर और फ्रंटलाइन वर्कर्स का वैक्सीनेशन जल्द से जल्द किया जाए.

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा कि 45 से ऊपर के लोगों का रजिस्ट्रेशन CoWIN वेबसाइट पर जारी रहेगा.

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जनवरी में शुरू हुआ था वैक्सीनेशन प्रोग्राम

भारत में कोरोना वायरस के खिलाफ वैक्सीनेशन प्रोग्राम 16 जनवरी को हुआ था. पहले फेज में फ्रंटलाइन और हेल्थकेयर वर्कर्स को वैक्सीन दी गई थी. वहीं, 1 फरवरी से 60 साल से ज्यादा उम्र के लोग वैक्सीनेशन के लिए योग्य हुए थे. 1 अप्रैल से सरकार ने 45 साल से ऊपर के लोगों के लिए वैक्सीनेशन शुरू किया है.

भारत में कोरोना वायरस के खिलाफ दो वैक्सीन को इमरजेंसी इस्तेमाल की अनुमति दी गई है. देश में लोगों को ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की कोविशील्ड और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन दी जा रही है.

स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, देश में अब तक 7.30 करोड़ लोगों को वैक्सीन की खुराक दी जा चुकी है. इसमें से 6.30 करोड़ को पहली डोज और 99 लाख लोगों को दूसरी डोज दी गई है.

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