उत्तरप्रदेश में पंचायत चुनावों में प्रदेश सरकार बड़ा बदलाव करने वाली है. सूत्रों के हवाले से खबर आ रही है कि अब दो से ज्यादा बच्चों वाले उम्मीदवारों के पंचायत चुनाव लड़ने पर रोक लगाई जा सकती है. ऐसा करने के पीछे जनसंख्या नियंत्रण को प्रोत्साहन देने की बात कही जा रही है.
बता दें उत्तराखंड, हरियाणा और ओडिशा समेत आधा दर्जन राज्यों में इस तरह के प्रावधान पहले से ही लागू हैं. इससे पहले केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता संजीव बालियान ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर दो से ज्यादा बच्चों के पंचायत चुनाव लड़ने पर रोक लगाने की बात कही थी.
उम्मीदवारी के लिए लागू होगी शैक्षिक योग्यता
वहीं पंचायत चुनाव में शैक्षिक अनिवार्यता पर भी सहमति बनने की बात सामने आ रही है. ग्राम पंचायत चुनाव में महिला और आरक्षित वर्ग के लिए न्यूनतम 8वीं पास होने की शैक्षणिक योग्यता का प्रावधान लागू किया जा सकता है.
जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ने के लिए 12 वीं पास योग्यता किए जाने की भी खबर है. आरक्षित वर्ग और महिलाओं के लिए यह सीमा 10 वीं पास की होगी.
इन बदलावों के लिए विधानसभा के अगले सत्र में पंचायती राज संशोधन कानून से संबंधित विधेयक पेश हो सकता है. बताया जा रहा है कि अप्रैल, 2021 में प्रस्तावित त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों के पहले यह बदलाव किए जा सकते हैं. बता दें पहले यह चुनाव दिसंबर, 2020 में होने थे, लेकिन कोरोना महामारी के चलते समय पर तैयारियां नहीं हो पाईं.
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