राजनीतिक पार्टियों के बीच चल रहे उपवास मुकाबले में गुरुवार को बीजेपी का नंबर था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उनके मंत्रिमंडल के साथियों समेत देशभर के कई राज्यों में बीजेपी नेताओं ने उपवास रखा. ये उपवास संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण ठप रहने के विरोध में रखा गया था, बीजेपी इसके लिए कांग्रेस को जिम्मेदार ठहरा रही है. इससे पहले 9 अप्रैल को देश की सबसे पुरानी पार्टी यानी कांग्रेस के नेताओं ने उपवास रखा था, कांग्रेस ने दलितों के ऊपर बढ़ते अत्याचार के विरोध में ये उपवास रखा था.
इन दोनों उपवास में एक चीज तो कॉमन रही, दोनों पार्टियों की तरफ से वायरल हुई खाने की कुछ तस्वीरें.
कांग्रेस का छोला भटूरा, बीजेपी का काजू-सैंडविच
9 अप्रैल को राहुल गांधी के उपवास से ज्यादा चर्चा में वो तस्वीरें रहीं, जिसमें कांग्रेस के कुछ नेता छोले-भटूरे खाते हुए दिखे. मौका हाथ लगते ही बीजेपी नेताओं ने कांग्रेस पर जमकर लताड़ लगाई और अनशन को नाटक करार दे दिया.
अब 12 अप्रैल को पीएम मोदी के उपवास के दौरान की भी कुछ तस्वीरें वायरल हुई हैं. एक में बीजेपी नेता सैंडविच खाते दिख रहे हैं तो दूसरी तस्वीर में एक नेताजी 'गलती से' काजू खाते पाए गए.
गुरुवार शाम को #उपवास_नहीं_विकास_करो हैशटैग ट्रेंड भी कर रहा था. इस हैशटैग के साथ किए कुछ ट्वीट्स हैं.
इस हैशटैग के साथ किए कुछ ट्वीट्स हैं.
बीजेपी और कांग्रेस की भटूरे- काजू पर सफाई
9 अप्रैल को जब छोले भटूरे खाते हुए कांग्रेस नेताओं की तस्वीर वायरल हुई तो कांग्रेस नेता अरविंदर सिंह लवली ने सफाई दी थी. उन्होंने कहा था कि ये तस्वीर उपवास शुरू होने से पहले सुबह 8 बजे की थी. अरविंदर ने कहा था कि बीजेपी वालों की यही गलती है, वो देश को सही से चलाने के बजाय हम क्या खाते हैं उसपर ज्यादा ध्यान रखते हैं.
अब, उत्तराखंड के बीजेपी लीडर की उपवास के वक्त काजू खाते हुए तस्वीर सामने आई है तो उन्होंने कहा, 'मैंने गलती से एक इवेंट में काजू खा लिया'.
ऐसे में जब दोनों पार्टियों ने अपने-अपने उपवास रख लिए हैं तो क्या जनता को ये 'मन ही मन समझ' लेना चाहिए कि सारी दिक्कतें दूर हो गईं? दलितों का उत्पीड़न बंद हो गया या बजट सत्र में रूके हुए काम की भरपाई हो गई.
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