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Covid: क्या कोरोना हाहाकार के बीच पुरी रथ यात्रा का आयोजन होगा?

रथ यात्रा इस साल 12 जुलाई को आयोजित होनी है. हालांकि अभी उत्सव के लिए 2 महीने का वक्त है

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राज्य
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भारत जैसे धार्मिक देश में आस्था सबसे अहम है, लोगों की जिंदगी से भी ज्यादा. जिस वक्त कोरोना की दूसरी लहर ने पूरे देश में हाहाकार मचा रखा है. ऑक्सीजन की कमी से हजारों लोगों की मौत हो चुकी है, हॉस्पिटल में बेड, दवाओं की कमी की खबरें रोज आ रही हैं. लेकिन भगवान जगन्नाथ पुरी मंदिर के पुजारी और ओडिशा प्रशासन को इन खबरों से फर्क नहीं पड़ता है. ये अभी भी सालाना तौर पर भीड़-भाड़ के साथ आयोजित होने वाली रथ यात्रा का आयोजन करना चाहते हैं.र

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हालात ये हैं कि भारत में रोजाना अब करीब 4000 लोगों की जान कोरोना वायरस की वजह से जा रही है और अब तक कुल 2 लाख लोग अपनी जान गंवा चुके हैं.

रथ यात्रा के लिए तैयारियां शुरू

इस साल की पुरी रथ यात्रा के लिए तैयारियां शुरू हो चुकी हैं. पिछले साल रथ यात्रा के दौरान करीब 100 लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए थे और कई मरीजों की मौत हो गई थी.

वरिष्ठ सेवायक (पुजारी) बिनायक दास मोहापात्रा ने क्विंट से बातचीत में बताया कि-

हम कोरोना गाइडलाइंस का पालन करेंगे और रथ यात्रा का आयोजन करेंगे. आयोजन ठीक पिछले साल जैसा होगा, जिसमें श्रद्धालु शामिल नहीं होंगे.
बिनायक दास मोहापात्रा, पुजारी
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क्या हमने पिछले साल से कुछ नहीं सीखा?

पिछले साल का रथ यात्रा उत्सव भी पुजारी समुदाय के दबाव के चलते आयोजित किया गया था. लेकिन तब भी कई लोगों ने उत्सव के आयोजन का विरोध किया था. लेकिन सेवायतों की जैसी मांग थी उसी तरह रथा यात्रा का आयोजन हुआ था.

हालांकि इस रथ यात्रा का आयोजन तभी संभव हो सका जब सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में बदलाव किया और रथ यात्रा को सख्त कोरोना नियमों के साथ आयोजन की मंजूरी दी.

लेकिन कोरोना की वजह से होने वाले नुकसान को नहीं रोका जा सका. सेवायत समुदाय के करीब 10 लोगों की मौत कोरोना की वजह से हुई.

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पुरी में कोरोना केसों में उछाल

साल 2020 की तुलना में 2021 में कोरोना वायरस केसों की संख्या बेहद ज्यादा है. 6 मई को भारत में लगातार दूसरे दिन नए केस 4 लाख से ज्यादा रिपोर्ट किए गए हैं. वहीं देशभर में अब तक कोरोना की वह से 2,30,168 लोगों की मौत हो चुकी है.

पुरी की स्थिति भी देश के जैसे ही गंभीर है. शहर में करीब 500-600 कोरोना केस रोजाना आ रहे हैं. कोरोना की गंभीर परिस्थितियों के चलते ओडिशा राज्य में 5 मई से 14 दिनों के लिए लॉकडाउन लगाया गया है. राज्य में पहले ही वीकेंड कर्फ्यू लागू है.

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प्रशासन की तरफ से हरी झंडी नहीं, लेकिन तैयारियां जारी

पुरी से इस तरह की खबरें आ रही हैं कि राज्य सरकार भीड़ जुटाए जाने के पक्ष में नहीं है. उत्कल यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर प्रताप रथ का कहना है कि- पुरी रथ यात्रा जैसे भारी भरकम उत्सव को आयोजित करने की अनुमति कैसे दी जा सकती है. उनका कहना है कि पुरी में हालात चिंताजनक है और आगे भी स्थिति और बिगड़ सकती है.

रथ यात्रा इस साल 12 जुलाई को आयोजित होनी है. हालांकि अभी उत्सव के लिए 2 महीने का वक्त है. इस बार प्रशासन को सख्ती दिखाते हुए सुनिश्चित करना चाहिए कि वो इस बार आस्था के दबाव में नहीं आएंगे.

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