पंजाब विधानसभा में 17 जनवरी को नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ एक प्रस्ताव पास हुआ है. इस प्रस्ताव को पंजाब सरकार ने पेश किया था.
बता दें कि हाल ही में केरल विधानसभा ने CAA रद्द करने की मांग के साथ एक प्रस्ताव पास किया था. इस दौरान अपने राजनीतिक मतभेदों को दूर रखते हुए केरल के CPM नीत लेफ्ट डेमक्रोटिक फ्रंट (LDF) और विपक्षी कांग्रेस नीत यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (UDF) CAA पर केंद्र के खिलाफ संयुक्त हमले के लिए एकजुट दिखे थे.
दोनों मोर्चों के सभी विधायकों ने सदन में इस प्रस्ताव का सर्वसम्मति से समर्थन किया था और केंद्र की आलोचना की थी. वहीं, 140 सदस्यीय केरल विधानसभा में BJP के एकमात्र विधायक ओ राजागोपाल ने प्रस्ताव का विरोध किया था.
मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने यह प्रस्ताव पेश किया था और विपक्ष के नेता रमेश चेन्नीतला (कांग्रेस) ने इसका समर्थन किया था. विजयन ने आरोप लगाया था कि CAA भारत को एक धार्मिक राष्ट्र बनाने की कोशिश है. हालांकि, BJP के विधायक ने इस आरोप को खारिज कर दिया और कहा कि कानून को गलत परिभाषित किया गया है और तुच्छ राजनीतिक फायदे के लिए दोनों मोर्चे झूठ फैला रहे हैं.
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