टीम इंडिया (Team India) ने दक्षिण अफ्रीका (South Africa) को उसके गढ़ सेंचुरियन (Centurion) में मात दे दी है. ये तीसरा अभेद किला था जिसे भारतीय टीम ने फतह किया. इससे पहले इंग्लैंड (England) और ऑस्ट्रेलिया (Australia) को भी विराट ब्रिगेड ने उनके गढ़ में हराया था. 2021 की शुरुआत में भारतीय टीम ने गाबा का घमंड तोड़ा था और उसके बाद इंग्लैंड को उसके सबसे मजबूत किले में ढेर किया. टीम इंडिया की ये सभी जीत खास इसलिए हैं, क्योंकि एशियन टीमों के लिए ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड और अफ्रीका में तेज पिचों पर जीतने सपने जैसा माना जाता था.
अगर इन देशों में जाकर कोई एशियन टीम एकाध मैच जीत जाती थी तो उसे बड़ी जीत माना जाता था. लेकिन टीम इंडिया ने इस साल ऑस्ट्रेलिया में जाकर टेस्ट सीरीज जीती. उसके बाद इंग्लैंड को इंग्लैंड में हराकार बढ़त हासिल की. उस सीरीज में भारत 2-1 से आगे है और एक टेस्ट मैच कोरोना की वजह से टल गया था जो बाद में खेला जाएगा. अब भारतीय टीम ने अफ्रीका को उस मैदान पर हराया है जहां उसे कोई एशियन टीम कभी नहीं हरा पाई थी.
सेंचुरियन में रचा इतिहास
दक्षिण अफ्रीका एशियन टीमों के लिए हमेशा से मुश्किल जगह रही है, यहां की बाउंसी पिचों पर भारत ही नहीं पूरे एशिया के बल्लेबाजों को खेलने में मुश्किल होती रही है. उस पर सेंचुरियन का मैदान तो और भी ज्यादा खतरनाक, जहां भारतीय टीम कभी जीती ही नहीं थी. लेकिन टीम इंडिया ने इस साल ये तिलिस्म भी तोड़ दिया और अफ्रीका को उसके सबसे मजबूत गढ़ में हराकर सीरीज में 1-0 की बढ़त बनाई.
चौथी पारी में 305 रनों का पीछा करने उतरी अफ्रीका की टीम को भारतीय गेदबाजों ने 191 के स्कोर पर समेट दिया और 113 रनों से शानदार जीत दर्ज की. ये पहला मौका था जब सेंचुरियन के मैदान पर किसी एशियाई टीम ने अफ्रीका को हराया. इससे पहले केवल ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड से अफ्रीका ने यहां 1-1 टेस्ट मैच हारा था.
टीम इंडिया ने तोड़ा गाबा का घमंड
2021 की शुरुआत हुई थी और टीम इंडिया ऑस्ट्रेलिया के दौरे पर थी. इसस पिछले दौरे पर भी भारतीय टीम ने ऑस्ट्रेलिया को उसके घर में हराया था, लेकिन तब कहा गया कि ऑस्ट्रेलिया के कई खिलाड़ी ना होने की वजह से उनकी टीम कमजोर थी. पर इस बार ऐसा नहीं था, उनके सारे खिलाड़ी थे और भारत की करीब आधी टीम नई थी. विराट कोहली निजी कारणों से दौरा छोड़कर आ गये थे.
भारतीय बॉलिंग अटैक कितना नया था इस बात का अंदाजा ऐसे लगाइए कि मो. सिराज उस टीम के सबसे अनुभवी तेज बॉलर थे. ब्रिस्बेन के गाबा मैदान पर ऑस्ट्रेलिया 32 साल से अजेय थी और चौथी पारी में भारत के सामने 328 रनों का पहाड़ जैसा स्कोर था. लेकिन शुरुआत में शुभमन गिल की शानदार पारी और चेतेश्वर पुजारा की जुझारू पारी के बाद ऋषभ पंत की शानदार बल्लेबाजी ने ऑस्ट्रेलिया को उसके गढ़ में हराया. ये हार ऑस्ट्रेलिया के लिए बहुत बड़ी थी क्योंकि गाबा के मैदान पर 1988 के बाद से ऑस्ट्रेलिया की टीम कभी हारी नहीं थी.
50 साल बाद ओवल फतह
भारत जब इंग्लैंड के दौरे पर था तो सीरीज 1-1 से बराबर होने के बाद दोनों टीमें द ओवल मैदान पर पहुंची. ये वो मैदान था जहां 50 साल से भारत टेस्ट मैच नहीं जीता था. 1971 के बाद से लगातार हार झेल रही टीम इंडिया ने इस मैच में 157 रनों की बड़ी जीत हासिल की. इस मैच के बाद भारत ने सीरीज में 2-1 की बढ़त बना ली. हालांकि पहली पारी में इंग्लैंड ने 290 रन बनाने के बाद भी 99 रन की लीड ले ली. लेकिन इसके बाद दूसरी पारी में भारत ने शानदार बल्लेबाजी की और 466 रनों का बड़ा स्कोर खड़ा किया. इस इनिंग में रोहित शर्मा, रिषभ पंत और शार्दुल ठाकुर ने अर्धशतक जमाये.
इस तरीके से इंग्लैंड को चौथी पारी में 368 रनों का बड़ा लक्ष्य मिला, लेकिन वो 157 रन से हार गई. इस मैच की दोनों पारियों में शार्दुल ठाकुर ने अर्धशतक लगाया था.
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