8 जुलाई 2019 को टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली अपना 47वां जन्मदिन मना रहे हैं. गांगुली टीम इंडिया के महान कप्तानों में से एक हैं. साल 1992 से 2007 के बीच गांगुली ने 311 वनडे मैचों में 11000 से ज्यादा रन बनाए और 22 सेंचुरी जड़ी. वहीं 113 टेस्ट मैचों में 16 सेंचुरी के साथ सात हजार से ज्यादा रन बनाए हैं.
लेकिन सौरव गांगुली ऐसे क्रिकेटर है, जो अक्सर विवादों की वजह से सुर्खियों में रहे हैं. उनके कुछ बड़े विवादों को हम यहां बता रहे हैं...
जब ड्रिंक लाने से मना कर दिया ?
साल 1991-92 में सौरव गांगुली ऑस्ट्रेलिया टूर के दौरान टीम इंडिया का हिस्सा थे. इसके बाद गांगुली ने अगला इंटरनेशनल मैच साल 1996 में इंग्लैंड के खिलाफ खेला. बताया जाता है कि ऑस्ट्रेलिया टूर के दौरान गांगुली ने एक खिलाड़ी के लिए ड्रिंक लाने से इनकार कर दिया था. इसी वजह से उन्हें चार साल तक भारत के लिए खेलने नहीं दिया गया.
नगमा के साथ सौरव गांगुली का अफेयर
साल 2001 में सौरव गांगुली शादीशुदा होने के बावजूद अफेयर की वजह से सुर्खियों में आए थे. साल 2001 के शुरुआत की बात है. भारत में ऑस्ट्रेलिया की टीम खेलने आई थी. तभी गांगुली को एक्ट्रेस नगमा के साथ देखा गया था. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दोनों साथ में साउथ इंडिया के किसी मंदिर में गए थे और वहां शादीशुदा जोड़े की तरह पूजा भी की थी. हालांकि उनके परिवार वालों ने इस खबर को झूठा करार दिया था.
टॉस के लिए आए थे लेट
साल 2001 में अपनी कप्तानी के दौरान सौरव गांगुली पर फील्ड टॉस के लिए देरी से आने का आरोप लगा था. भारत-ऑस्ट्रेलिया सीरीज के दौरान ऑस्ट्रेलियाई कप्तान स्टीव वॉ ने गांगुली पर ये आरोप लगाया था. फील्ड पर गांगुली का देर से आने की आदत की वजह से स्टीव काफी गुस्सा हो गए थे. स्टीव ने इसका विरोध भी किया था. उन्होंने यहां तक कह दिया कि सौरव गांगुली को खेल का सम्मान करना चाहिए.
लॉर्ड्स में शर्ट उतारकर जश्न मनाया
क्या आपकी इतनी हिम्मत है कि लंदन के लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड पर मैच के दौरान अपनी शर्ट उतारकर हवा में लहराएं? गांगुली ने साल 2002 में ठीक ऐसा ही किया था. नेटवेस्ट ट्रॉफी ट्राई सीरीज में जब भारत ने इंग्लैंड को हराया तो लॉर्ड्स की बालकनी में खड़े होकर दादा ने भारतीय शर्ट लहराई थी. उस मैच में भारत ने रिकॉर्ड 326 रनों के लक्ष्य का पीछा किया था.
ग्रेग चैपल से तकरार
ये शायद गांगुली के करियर का सबसे बड़ा विवाद होगा. साल 2005 में ग्रेग चैपल को सौरव गांगुली की ही सिफारिश पर भारत का कोच बनाया गया. गांगुली का बल्ले से प्रदर्शन गिर रहा था और उस वक्त जिम्बाब्वे के दौरे पर ग्रेग चैपल ने उन्हें कहा कि कप्तानी का दबाव उनकी बल्लेबाजी खराब कर रहा है. उसके बाद ‘दादा’ ने पहले ही टेस्ट में सेंचुरी बनाई और मीडिया को कहा कि उनको इस्तीफा देने के लिए कहा गया है. उसके बाद विवाद बढ़ा और चैपल ने बीसीसीआई को एक मेल किया जिसमें उन्होंने गांगुली से उनके खराब रिश्तों के बारे में लिखा. उसके बाद गांगुली से कप्तानी छीन ली गई और उन्हें वनडे टीम से बाहर कर दिया गया.
बाद में गांगुली ने टीम में फिर वापसी की और अपनी जगह पक्की की. राहुल द्रविड़ की कप्तानी में टीम इंडिया वनडे वर्ल्ड कप 2007 में पहले दौर से बाहर हुई और ग्रेग चैपल से टीम इंडिया के कोच का पद छीन लिया गया.
रवि शास्त्री संग ढिशुम-ढिशुम
ये गांगुली से जुड़ा सबसे नया वाला विवाद है. बीसीसीआई टीम इंडिया के नए कोच की तलाश कर रही थी तो गांगुली, लक्ष्मण और सचिन के रूप में एक क्रिकेट एडवाएजरी कमेटी बनाई गई. कोच के लिए रवि शास्त्री के इंटरव्यू के दौरान गांगुली मौजूद नहीं थे. वो इंटरव्यू वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुआ था क्योंकि शास्त्री बैंकॉक में थे.
जब शास्त्री इंटरव्यू में अनिल कुंबले से हार गए तो उन्होंने कहा कि गांगुली ने इंटरव्यू में न आकर उनकी बेइज्जती की. इसके जवाब में गांगुली ने कहा कि अगर शास्त्री इस रोल के लिए ज्यादा सीरीयस होते तो यहां भारत में रहकर इंटरव्यू देते, न कि छुट्टियां मनाते हुए. हालांकि इस विवाद के एक साल बाद अनिल कुंबले ने टीम के कोच पद से इस्तीफा दिया और शास्त्री भारत के कोच बने.
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