रिटायरमेंट के बाद जब कई लोग आराम की जिंदगी जीने का सपना देखते हैं, वहीं ये शख्स कुछ और सोचता है. मिलिए असम के पूर्व डीजीपी, मुकेश सहाय से जिन्होंने अपने रिटायरमेंट के बाद बच्चों को पढ़ाने की ठानी. सहाय, अपनी 34 साल की सेवा देने के बाद सोनाराम हायर सेकेंडरी स्कूल में फुल टाइम मैथ्स टीचर बन गए हैं
मुकेश सहाय ने मीडिया से बात की और कहा...
मैं अपनी खुशी के लिए ये कर रहा हूं. शिक्षा के लिए ये मेरा छोटा सा प्रयास है. अब ये छात्रों पर निर्भर करता है, कि उन्हें कैसा लगता है. अगर उन्हें अच्छा लगेगा तो मैं पढ़ाना जारी रखूंगा.मुकेश सहाय, पूर्व डीजीपी
मुकेश सहाय गुवाहटी के उस सरकारी स्कूल में गणित पढ़ाते हैं, जहां पहले कोई गणित का टीचर नहीं था. स्कूल के प्रिंसिपल द्विजेन्द्र नाथ बोर्थाकुर ने बताया...
साल 2016 में वो एक कार्यक्रम में शामिल होने हमारे स्कूल आए थे. उन्होंने मुझे बताया कि वो पढ़ाना चाहते हैं. मुझसे पूछा कि क्या मैं गणित पढ़ाने में मदद कर सकता हूं? मैंने उन्हें कहा था कि आप आइए. मैं आपके लिए क्लास की व्यवस्था करूंगाद्विजेन्द्र नाथ बोर्थाकुर, स्कूल प्रिंसिपल
बिहार के रहने वाले सहाय 1984 बैच के आईपीएस अफसर थे. जो अब 12वीं क्लास के बच्चों को गणित पढ़ाते हैं.
अब छात्र भी उनकी क्लास में दिलचस्पी ले रहे हैं और बाकी टीचर उन्हें प्रोत्साहित करते हैं.द्विजेन्द्र नाथ बोर्थाकुर, स्कूल प्रिंसिपल
उत्साह से भरे सहाय अब 12वीं के साथ-साथ 11वीं के बच्चों को भी पढ़ाएंगे.
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