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बाइडेन ने कर दी नोटों की बौछार, क्या करेंगे हमारे शेयर बाजार?

विदेशी निवेशकों की भारतीय बाजार में बहुत ही अहम भूमिका है.

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Impact of 2 trillion dollar US infrastructure package on Indian share market
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Impact of 2 trillion dollar US infrastructure package on Indian share market
(फोटो: IANS)

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शेयर बाजार पर अहम घटनाओं का हमेशा से ही असर देखा जाता रहा है. ऐसे में अब जब अमेरिका में कई दशकों का सबसे बड़ा इंफ्रास्ट्रक्चर प्लान लाया जा रहा है, मार्केट पर इसके प्रभावों को लेकर निवेशकों के मन में काफी सवाल हैं. आइए देखते हैं इस 2 ट्रिलियन की बड़ी योजना का भारतीय शेयर बाजार पर क्या असर पड़ेगा-

मार्केट पर अभी क्या असर?

भारतीय शेयर बाजार पर पैकेज की घोषणा का सकारात्मक असर रहा. 1 अप्रैल को सेंसेक्स और निफ्टी इंडेक्स 1% से भी ज्यादा चढ़े. लगभग सारे सेक्टर आधारित इंडेक्सों में भी उछाल दर्ज की गई. केवल भारत में ही नहीं बल्कि दुनिया भर के शेयर बाजारों में इस वजह से गुरुवार को बाजार में तेजी रही. सिंगापुर, जापान, चीन, ब्रिटेन, फ्रांस समेत सारे महत्वपूर्ण एशियाई और यूरोपीय बाजार हरे निशान में बंद हुए. गुरुवार को US के सारे इंडेक्स मजबूती के साथ व्यापार में हैं.

आने वाले दिनों में क्या करें उम्मीद?

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इस बड़े पैकेज से अमेरिकी इकॉनमी में लिक्विडिटी के बड़े तौर पर बढ़ने की उम्मीद है. जब भी विकसित देशों में आर्थिक गतिविधियों में तेजी से लिक्विडिटी बढ़ती है, वहां के निवेशक (FII) ज्यादा मुनाफे की उम्मीद में उभरते हुए विकासशील बाजारों की तरफ आते हैं. ऐसे में उम्मीद की जा सकती है कि विदेशी निवेश से भारतीय शेयर मार्केट और चढ़े.

हालांकि यह भी देखना महत्वपूर्ण है कि बाजार पहले ही काफी उच्च स्तर पर ट्रेड कर रहा है. काफी जानकार हाल के करेक्शन के बाद भी बाजार को ओवरवैल्यूड मान रहे हैं. ऐसे में काफी फैक्टरों के बीच का संतुलन बाजार की दिशा शायद बेहतर बता पाए. जल्द ही कंपनियों के बीते कारोबारी वर्ष के आखिरी तिमाही के नतीजे भी आने शुरू हो जाएंगे. इसके अलावा कोरोना के मामलों और बॉन्ड यील्ड पर भी निवेशकों की पैनी नजर होगी.

बड़ी विदेशी निवेशकों (FII) खरीदारी के समय बाजार में घरेलू संस्थागत निवेशकों द्वारा बिकवाली भी देखी गई है जिसने बाजार में थोड़ा संतुलन बनाए रखा है. आने वाले दिनों में यह एक गौर करने लायक पहलू होगा.

यह भी समझना जरूरी है कि इस बड़े इंफ्रास्ट्रक्चर पैकेज के पारित होने के लिए कम से कम 10 रिपब्लिकन पार्टी के नेताओं के भी समर्थन की जरूरत होगी. सीनेट में रिपब्लिकन मॉइनॉरिटी लीडर मिच मैककॉनेल ने योजना को पहले ही अस्वीकार कर दिया है.

पहले क्या हुआ है FII के पैसे से?

विदेशी निवेशकों की भारतीय बाजार में बहुत ही अहम भूमिका है. इमर्जिंग मार्केट में बड़े रिटर्न के कारण FII और FPI हमेशा अच्छे निवेश की तलाश में रहते हैं. स्टिमुलस पैकेज के बाद तो निवेश बढ़ता ही है. बाइडेन की जीत के बाद बड़े स्टिमुलस पैकेज की संभावना और कोरोना से उबरती इकॉनमी में FII निवेश का बाजार की मजबूती में बड़ा योगदान था.

2020 के आखिरी दो महीनों में FII ने बाजार में 1 लाख 13 हजार करोड़ रूपये डाले थे. इस निवेश से बाजार को सेंसेक्स को 8,137 प्वाइंट की बड़ी तेजी हासिल करने में काफी मदद मिली. जनवरी और फरवरी 2021 में विदेशी निवेशकों का इक्विटी में निवेश 19473 और 25787 करोड़ का था जिसके बाद 15 फरवरी को सेंसेक्स बड़े निवेश के बाद उछाल से पहली बार 52,000 के स्तर के ऊपर पहुंच गया. इसी तरह मार्च में इनफ्लो थोड़ा घटकर 10952 करोड़ रहा जिसके कारण बेयर्स को बाजार में मदद मिली और बाजार टूटा.

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Published: 02 Apr 2021,07:30 AM IST

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