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वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण की एक ऑडियो क्लिप वायरल हुई है जिसमें वह भारतीय स्टेट बैंक को फटकार लगाते हुए उसे 'बेरहम बैंक' बता रही हैं. यह वाकया उस समय का है जब पिछले दिनों एसबीआई के फाइनेंशियल आउटरीज प्रोग्राम में शिरकत करने के सिलसिले में वह गुवाहाटी गई थीं.
कार्यक्रम में एसबीआई के चेयरमैन रजनीश कुमार और विभिन्न बैंकों के प्रमुख भी पहुंचे थे. उसी समय की यह ऑडियो क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हुई है. ऑडियो क्लिप में सीतारमण चाय बागान के कामगारों को कर्ज मिलने में हो रही कठिनाई को जानकर नाराज हैं. वह कह रही हैं- " मुझे यह मत बताइए कि आप सबसे बड़े बैंक हैं. आप बेरहम बैंक हैं. ‘’
इस बीच, एसबीआई ने एफडी डिपोजिटरों के लिए एक महीने में दूसरी बार फिक्स्ड डिपोजिट पर ब्याज घटा दिया है. नई दरें 10 मार्च से लागू हो जाएंगीं. इससे पहले एसबीआई ने दस फरवरी को एफडी पर ब्याज घटाया था. एसबीआई की ओर से एफडी पर ब्याज दरें घटाने के बाद दूसरे बैंक भी एफडी पर ब्याज दरें घटा सकते हैं.
एसबीआई के ताजा फैसले के मुताबिक एसबीआई के 7 से 45 दिनों के एफडी पर चार फीसदी ब्याज मिलेगा. पहले 4.5 फीसदी ब्याज मिलता था. इसी तरह एक साल से लेकर पांच साल से कम की अवधि के दौरान 5.9 फीसदी ब्याज मिलेगा,जबकि पहले छह फीसदी ब्याज मिलता था. 5 साल से दस तक के एफडी पर अब भी 5.9 फीसदी ही ब्याज मिलेगा. पहले यह दर छह फीसदी थी.
हालांकि पिछले दिनों SBI ने सेविंग अकाउंट यानी बचत खाते में न्यूनतम बैलेंस रखने के नियम को खत्म कर दिया है. इस फैसले के बाद बचत खाते में न्यूनतम बैलेंस नहीं रखने पर कोई चार्ज नहीं लगेगा. बैंक ने कहा है कि इस कदम से लगभग 44.51 करोड़ खाताधारकों को फायदा होगा. अभी तक SBI के ग्राहकों को मेट्रो शहरों में 3000 रुपये, सेमी-अर्बन में 2000 रुपये और रूरल इलाकों में 1000 रुपये एवरेज मंथली बैलेंस रखना होता था. ऐसा न करने पर बैंक 5 से 15 रुपये तक की पेनल्टी लगाता था और साथ ही टैक्स भी चार्ज करता था.
SBI ने अपने ग्राहकों को एक और राहत दी है. बैंक ने SMS चार्ज हटाने का भी फैसला किया है. बैंक के इस ऐलान से सभी ग्राहकों को फायदा पहुंचेगा.
इससे पहले SBI ने FD की ब्याज दर को भी घटाया है. 2 करोड़ रुपये से कम की रिटेल एफडी पर ब्याज दरें 7-45 दिन से लेकर 5-10 साल की अवधि तक 0.50 फीसदी तक घटा दी गई है. ये नई दरें 10 मार्च से लागू हो गई हैं. SBI ने MCLR में भी कटौती की है, जिससे कर्ज लेना सस्ता हो गया है. बैंक ने विभिन्न अवधि के लिए MCLR में 0.15 फीसदी तक की कटौती की है. ये भी 10 मार्च से लागू हो गई है. मौजूदा वित्त वर्ष में SBI ने लगातार 10वीं बार MCLR में कटौती की है.
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