Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Elections Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Himachal pradesh election  Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019टेंडर रद्द, भर्तियों पर रोक- नए सीएम सुक्खू ने पलटे जयराम सरकार के कई फैसले

टेंडर रद्द, भर्तियों पर रोक- नए सीएम सुक्खू ने पलटे जयराम सरकार के कई फैसले

“हमने कांग्रेस सरकार के किसी फैसले को नहीं पलटा, अफसोस कि कांग्रेस सरकार ने बदले की भावना से काम करना शुरू कर दिया”

वकार आलम
हिमाचल प्रदेश चुनाव
Published:
<div class="paragraphs"><p>टेंडर रद्द, भर्तियों पर रोक- नए सीएम सुक्खू ने पलटे जयराम सरकार के कई फैसले</p></div>
i

टेंडर रद्द, भर्तियों पर रोक- नए सीएम सुक्खू ने पलटे जयराम सरकार के कई फैसले

फोटो-Alteredby quint

advertisement

“कांग्रेस ने अपना रिवाज जारी रखते हुए हमारी सरकार के फैसलों को रोकने और पलटने का काम शुरू कर दिया, जबकि अभी तो मंत्रिमंडल का भी गठन नहीं हुआ लेकिन बदले की भावना के साथ काम करने की शुरूआत हो गई. बदले की भावना के साथ काम की शुरूवात अच्छी नहीं है.”

ये ट्वीट आज हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने किया है. कांग्रेस की नई सरकार पर वो बदले की भावना से काम करने का आरोप लगा रहे हैं. वो कह रहे हैं कि नए सीएम सुखविंदर सुक्खू ने आते ही उनकी सरकार के फैसले बदलने शुरू कर दिये हैं तो आइए देखते हैं कि हिमाचल की नई सरकार ने पुरानी सरकार के कौन से फैसले बदले हैं और अब तक कुल कितने फैसले लिए हैं.

सीएम सुक्खू ने पूर्व सीएम के ये फैसले बदले

  • जयराम सरकार के एक अप्रैल 2022 के बाद कैबिनेट में लिए गए सभी फैसलों की समीक्षा होगी

  • नए संस्थान खोलने और अपग्रेड करने के फैसलों की समीक्षा की जाएगी और कुछ को डिनोटिफाई भी किया जाएगा

  • जयराम सरकार के कार्यकाल में अधिकारियों को दिया गया पुनर्रोजगार तुरंत प्रभाव से समाप्त करने का फैसला, मेडिकल कॉलेजों को इससे अलग रखा गया है

  • जल शक्ति विभाग में पिछले 6 महीने में हुए सभी टेंडर भी रद्द

  • निगम बोर्डों की नियुक्तियों को भी तुरंत प्रभाव से कैंसिल करने का आदेश

  • मौजूदा समय में सरकारी विभागों में चल रही भर्तियों पर भी रोक, सरकार पहले इन भर्ती प्रक्रियाओं को देखेगी और उनका आकलन करने के बाद ही यह भर्ती प्रक्रियाएं आगे बढ़ेंगी.

  • अटल टनल रोहतांग के बाहर से हटाई गई सोनिया गांधी की शिलान्यास पट्टिका फिर लगेगी

  • जिन अधिकारियों व कर्मचारियों के तबादले किए गए थे और उन पर अमल नहीं किया गया, उनको भी रोक दिया है

पिछली सरकार के पलटे फैसलों की विस्तार से जानकारी

जल शक्ति विभाग में टेंडर रोके गये

जल शक्ति विभाग में पैरा स्टाफ, पैरा पंप ऑपरेटर, पैरा फिटर, मल्टीपर्पज, पैरा कुक और पैरा हेल्पर के मामले में नया नियुक्ति पत्र और नया भर्ती नोटिस जारी करने पर रोक लगा दी गई है. और कहा गया है कि किसी भी विभाग की ओर से आगामी आदेशों तक एलओसी जारी नहीं किए जाएंगे. किसी भी वजह से क्षतिग्रस्त शिलान्यास और उद्घाटन पट्टिकाओं की मरम्मत की जाएगी और इसकी रिपोर्ट जल शक्ति विभाग के मुख्य अभियंता कार्यालय को भेजने के लिए कहा गया है. इसके अलावा लंबित चल रहे भी टेंडर को होल्ड करने के निर्देश दिए गए हैं और आगामी आदेशों तक किसी भी परिस्थिति में इन्हें जारी नहीं करने के निर्देश हैं. फिलहाल कोई नया टेंडर आमंत्रित नहीं किया जाएगा.

अटल टनल के बाहर फिर लगेगा सोनिया गांधी का नाम

सुक्खू सरकार ने फैसला लिया है कि अटल टनल रोहतांग के बाहर से हटाई गई सोनिया गांधी की शिलान्यास पट्टिका फिर लगेगी. दरअसल सोनिया गांधी के नाम की पट्टिका 28 जून, 2010 को बतौर राष्ट्रीय सलाहकार परिषद के अध्यक्ष के रूप में स्थापित की गई थी. लोनिवि में लेटर ऑफ क्रेडिट (एलओसी) जो विभागों को जाता है, उसे कैबिनेट की बैठक तक होल्ड करने को कहा गया है.

कमेटी करेगी भर्तियों की समीक्षा

जयराम सरकार के कार्यकाल में शिक्षा, लोक निर्माण विभाग सहित अन्य विभागों में मल्टी टास्क वर्कर भर्तियां हुई हैं.

इसे लेकर विधायक हर्षवर्द्धन चौहान की अध्यक्षता में कमेटी का गठन किया गया है. इसमें जगत सिंह नेगी, संजय रत्न, मोहन लाल ब्राक्टा को सदस्य बनाया है. यह कमेटी इन भर्तियों सहित पैरा वर्कर भर्ती के मामले भी देखेगी और सरकार को रिपोर्ट सौंपेगी.
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

कुछ फैसले नए भी लिये गए

ये भी फैसला लिया गया कि हिमाचल भवन, सदन और राज्य अतिथि गृहों में ठहरने पर मंत्रियों और विधायकों को किराये में अब छूट नहीं मिलेगी. इन्हें आम जनता के समान कमरों के किराये की अदायगी करनी होगी. इन्हें 1200 रुपये प्रति कमरा चुकाना होगा. विधायकों, मंत्रियों आदि के लिए इससे पहले 200 रुपये एक कमरे का किराया था.

अनाथ बच्चों को गोद लेगी सरकार

अनाथ बच्चों के भविष्य को लेकर भी फैसला लिया जाएगा. लड़कियों की शादी तक और लड़कों को नौकरी मिलने तक इन्हें गोद लिया जाएगा. इसके लिए विधायक राजेश धर्माणी की अध्यक्षता में कमेटी गठित की गई है. इन्हें अनाथ आश्रमों में जाने को कहा है, जिससे इन बच्चों के लिए नीति बनाई जा सके.

सुक्खू सरकार के प्रशासनिक फैसलों पर नजर

सीएम सुखविंदर सुक्खू ने पदभार संभालते ही किन्नौर के उपायुक्त आबिद हुसैन सादिक का तबादला कर दिया है. आबिद को राज्य सचिवालय में विशेष सचिव वन के पद पर नियुक्ति दी गई है. विशेष सचिव वन का अतिरिक्त कार्यभार देख रहे सीपी वर्मा को पदभार मुक्त किया गया है.

इसके अलावा एडीएम किन्नौर सुरेंद्र सिंह राठौर को उपायुक्त का अतिरिक्त कार्यभार सौंपा गया है. दरअसल किन्नौर से विधायक जगत सिंह नेगी और उपायुक्त आबिद के बीच बीजेपी सरकार के समय आपसी समन्वय ठीक नहीं रहा. बीजेपी नेता सूरत नेगी को अधिक तवज्जो देने का आरोप लगाते हुए जगत सिंह नेगी अक्सर नाराज रहते थे. इसलिए उनके तबादले को स्थानीय विधायक की नाराजगी से जोड़कर देखा जा रहा है.

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

Published: undefined

ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT