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राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (NCR) में शनिवार, एक अक्टूबर से प्रदूषण से निपटने के लिए संशोधित ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) लागू होने जा रहा है. इसके अंतर्गत प्रदूषण (Pollution in Delhi NCR) को कम करने के लिए दिल्ली-एनसीआर में कई नए प्रतिबंध लागू होने जा रहे हैं. क्या है यह प्लान, क्या होंगे बदलाव आपको बताते हैं.
ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) दिल्ली में वायु प्रदूषण को रोकने के लिए उठाए जाने वाले कुछ कदमों का एक प्लान है. जब दिल्ली में वायु प्रदूषण का स्तर कुछ ट्रिगर बिंदुओं पर पहुंच जाता है, तो ग्रैप प्रतिबंधों की एक लिस्ट निर्धारित करता है. AQI के बिगड़ने पर यह प्रतिबंध और सख्त हो जाते हैं. 13 जुलाई को वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) द्वारा जारी प्लान के मुताबिक यह आयोग अब प्रतिबंधों के लिए वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) को भी ध्यान में रखेगी, न कि सिर्फ PM 2.5 और PM 10 को ट्रिगर के रूप में रखेगी.
ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (जीआरएपी) के तहत एक अक्टूबर से एनसीआर जिलों में जनरेटर सेट के इस्तेमाल पर प्रतिबंध रहेगा. जेनरेटर सेट की अनुमति केवल आवश्यक सेवाओं, जैसे अस्पताल चलाने, चिकित्सा उपकरण, सेना से संबंधित कार्यों में ही दी जाएगी या अन्य आपातकालीन स्थितियों में.
जहां पीएनजी लाइन बिछाई गई है वहां कोयला, डीजल और जेनरेटर पर आधारित उद्योग नहीं चल सकेंगे. जहां पीएनजी लाइन नहीं बिछाई गई है, वहां यह नियम 1 जनवरी 2023 से लागू होगा.
हरियाणा प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अध्यक्ष पी. राघवेंद्र राव ने कहा कि, "इस बार संशोधित जीआरएपी एनसीआर में लागू किया जा रहा है, जिसके तहत जीआरएपी को वायु गुणवत्ता के आधार पर चार चरणों में बांटा गया है. अगर एक्यूआई यानी एयर क्वालिटी इंडेक्स 200 से ऊपर पहुंच जाता है तो पहला चरण 'पूअर (खराब)' होगा. अगर AQI 400 को पार करता है तो स्टेज 3 'गंभीर' होगा और AQI 450 को पार करने पर स्टेज 4 'बहुत गंभीर' होगा."
गौरतलब है कि हरियाणा के 14 जिले एनसीआर क्षेत्र में आते हैं. एनसीआर जिलों में प्रदूषण कम करने के लिए 500 वर्ग मीटर से ज्यादा के क्षेत्र में निर्माण व तोड़फोड़ के लिए डस्ट कंट्रोल एप पर रजिस्ट्रेशन जरूरी होगा.
जिन इंडस्ट्री में पीएनजी गैस की आपूर्ति की जाती है, वे गैस का इस्तेमाल करेंगे और जिन इंडस्ट्री में अब तक गैस की सप्लाई नहीं हुई है, उन्हें फ्यूल के रूप में बायोमास का इस्तेमाल करने पर जोर देना होगा.
पी राघवेंद्र राव ने अधिकारियों को ढाबों, होटलों और रेस्तरां आदि में कोयले के इस्तेमाल पर प्रतिबंध सुनिश्चित करने के निर्देश दिए है. इसके साथ ही सभी जिलों में जिला पर्यावरण योजना तैयार की जाएगी.
दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने शनिवार 01 अक्टूबर को कहा कि आम आदमी पार्टी (आप) सरकार ने फैसला किया है कि 25 अक्टूबर से राष्ट्रीय राजधानी के पेट्रोल पंपों पर पीयूसी (प्रदूषण नियंत्रण में) प्रमाण पत्र के बिना पेट्रोल और डीजल उपलब्ध नहीं कराया जाएगा. उन्होंने कहा कि इस संबंध में जल्द ही अधिसूचना भी जारी की जाएगी.
वाहनों से होने वाले प्रदूषण को रोकने के लिए यह फैसला लिया गया है. गोपाल राय ने कहा कि पर्यावरण, परिवहन और यातायात विभागों के अधिकारियों की एक बैठक 29 सितंबर को बुलाई गई थी, जिसमें इस बारे में और तौर-तरीकों पर चर्चा की गई थी, जहां 25 अक्टूबर से इस योजना को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया गया था.
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