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अमेरिकी स्वास्थ्य एजेंसियों ने फार्मा कंपनी जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी की बनाई कोरोना वैक्सीन के इस्तेमाल को तत्काल प्रभाव से रोक दिया है. इसके पहले अमेरिका में वैक्सीन लेने वाले 6 लोगों के स्वास्थ्य में दिक्कत आई थीं. कुछ लोगों को वैक्सीनेशन के 2 हफ्ते के अंदर ब्लड क्लॉट बनने की शिकायत हुई. अमेरिकी एजेंसियों ने ये रोक अस्थाई तौर पर लगाई है और अब अमेरिकी FDA विसंगतियों के मामलों की जांच करेगा.
अमेरिका में अब तक करीब 70 लाख लोग जॉनसन एंड जॉनसन का वैक्सीन शॉट लगावा चुके हैं. इसके अलावा करीब 90 लाख डोज राज्यों को भेजे जा चुके हैं.
USFDA ने इस बारे में बयान जारी कर बताया है कि 'हम जॉनसन एंड जॉनसन की कोरोना वैक्सीन पर फिलहाल अस्थायी रोक लगा रहे हैं. अमेरिका में जो डिसऑर्डर के मामले आए हैं, प्रशासन उनकी जांच कर रहा है.'
बता दें कि भारत में दो तरह की कोरोना वैक्सीन लग रही हैं. एक देशी कोवैक्सीन और दूसरी ऑक्सफोर्ड वाली एस्ट्राजेनेका. ये जो दूसरी वाली है एस्ट्राजेनेका उसपर यूरोप के कई देशों ने फिलहाल रोक लगा दी है.
इटली, फ्रांस, डेनमार्क, आयरलैंड, नीदरलैंड, नार्वे और जर्मनी समेत करीब एक दर्जन देश. शिकायत है कि खून के थक्के जम रहे हैं. तो कुछ मामले में ज्यादा खून बहने की शिकायत है. मौते हुई हैं.
कुछ दिन पहले ही यूरोपीय दवा नियामक (EMA) की स्टडी में खुलासा हुआ था कि एस्ट्राजेनेका वैक्सीन लगने के बाद खून के थक्के जम सकते हैं. यूरोपीय दवा नियामक के मुताबिक एस्ट्राजेनेका वैक्सीन और खून के थक्कों के बीच संबंध पाया गया है. हालांकि, ये काफी दुर्लभ है लेकिन फिर भी ऐसा हो सकता है. ऐसी सलाह दी गई है कि इस बात का ध्यान रखा जाए. साथ ही, ये भी कहा गया है कि वैक्सीन की वजह से जोखिम के मुकाबले इसे लगवाने के ज्यादा फायदे हैं.
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Published: 13 Apr 2021,05:51 PM IST