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Hardik Pandya: 5 रुपये की मैगी खाकर दिन निकाल देते थे, आज IPL की ट्रॉफी जिताई

IPL 2022 Final GT vs RR: Hardik Pandya ने आज अपनी कप्तानी में गुजरात टाइटंस को पहली ही बार में आईपीएल चैंपियन बनाया

धनंजय कुमार
IPL 2024
Updated:
<div class="paragraphs"><p>Hardik Pandya Gujarat Titans&nbsp;</p></div>
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Hardik Pandya Gujarat Titans 

(Photo- IPL/Twitter)

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भारतीय क्रिकेट के आक्रामक ऑलराउंडर हार्दिक पंड्या (Hardik Pandya) ने आज अपनी कप्तानी में अपनी टीम गुजरात टाइटंस को आईपीएल 2022 का चैंपियन बनाया है. गुजरात पहली ही बार में आईपीएल खिताब जीती हैं. डोमेस्टिक क्रिकेट, आईपीएल और अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट में सफलताओं का ध्वज लहरा चुके हार्दिक पंड्या के खाते में आज एक और उपलब्धि जुड़ गई.

लेकिन एक कथन है कि "सफलता अचानक नहीं आती" और ये कथन हार्दिक पंड्या के संदर्भ में एकदम सटीक बैठता है. कभी 5 रूपये की मैगी खाकर गुजारा कर लेने वाले हार्दिक पंड्या इस सीजन 15 करोड़ की भारी-भरकम कीमत में बिके, लेकिन यहां तक पहुंचने की एक कहानी है....

संघर्ष के दिन

आज हार्दिक पंड्या किसी को भी काफी कूल, पार्टी बॉय और स्टाइलिश अंदाज के एक इंसान लग सकते हैं. सोशल मीडिया पर उनका अंदाज, स्टाइल और मीडिया कवरेज बिल्कुल एक स्टार क्रिकेटर वाला है और हो भी क्यों न जब हार्दिक स्टार बन चुके हैं...

हम आपको लेकर चलते हैं 2016 में इंडियन एक्सप्रेस को दिए उनके एक इंटरव्यू की तरफ, जिसमें उन्होंने कुछ ऐसा कहा था,

" ₹5 की मैगी आती थी, माली को रिक्वेस्ट करके गर्म पानी लेता था और मैं और मेरा भाई ग्राउंड पर बनाकर खाते थे. ब्रेकफास्ट भी वही और लंच भी वही और ऐसे ही पूरा दिन निकल जाता था."

उन्होंने आगे कहा, "हम दोनों भाई दिन भर ग्राउंड पर पड़े रहते थे, बाहर उधारी बहुत हो गई थी, जितना आता सब तुरंत चला जाता, 10 रुपये छोड़ो 5 रुपये के भी लाले पड़े हुए थे."

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पैसों के लिए गांवों में टूर्नामेंट खेलना शुरू किया

आर्थिक हालत सुधारने के लिए और परिवार की मदद करने के लिए हार्दिक और उनके भाई क्रुणाल ने अपने टैलेंट का इस्तेमाल कर पैसा कमाने का सोच लिया. दोनों भाई आसपास के गांवों में जाकर 400-500 रुपए के लिए लोकल टूर्नामेंट खेलने लगे.

हार्दिक पंड्या को हार्दिक पंड्या बनाने में उनके परिवार का भी योगदान कुछ कम नहीं है. हार्दिक के पिता हिमांशु का सूरत में एक छोटा कार फाइनेंस बिजनेस था. हार्दिक को क्रिकेट में अच्छी सुविधाएं दिलाने के लिए यह बिजनेस बंद करके वडोदरा शिफ्ट हो गए. वहां हार्दिक ने किरण मोरे क्रिकेट एकेडमी में दाखिला लिया.

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Published: 11 Oct 2021,06:08 PM IST

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